रुसी विमान गिराने के बाद रूस और तुर्की के बीच तनातनी कम होने की बजाए लगातार बढ़ती जा रही है। रुसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने तुर्की पर गंभीर आरोप लगाए है। उन्होने कहा कि यह देश इस्लामिक स्टेट की मदद कर रहा है।
पुतिन के अनुसार आईएस तुर्की को तेल की आपूर्ति कर रहा है। उसमें किसी तरह की बाधा ना आए इसके लिए बीते दिनों तुर्की ने रूस का लड़ाकू विमान मार गिराया था, जो आईएस के आतंकियों पर हमला करने जा रहा था।
दोनो देशों के मतभेदों के बीच रुसी विमान दुर्घटना में मारे गए रूसी पायलट का शव सोमवार को घर पहुंच गया। वही दूसरी ओर, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने तुर्की के राष्ट्रपति तैय्यप एरदोगन से पेरिस में बैठक रद कर दी। क्रेमलिन के प्रवक्ता दमित्री पेस्कोव ने बताया कि एरदोगन के साथ बैठक की कोई योजना नहीं है।
जलवायु शिखर सम्मेलन के अलावा इस रुस को इस बैठक का सुझाव तुर्की ने ही दिया था। शुरुआत में रूस ने इसको लेकर साकारात्मक संकेत दिए थे। वहीं, ब्रसेल्स में नाटो पदाधिकारियों के साथ मुलाकात की जिसके बाद तुर्की प्रधानमंत्री अहमत दावुतोग्लू ने कहा कि अपनी सीमा की सुरक्षा हमारा फर्ज है।
सुरक्षा की दृष्टि की गई किसी भी कार्रवाई के लिए तुर्की कभी माफी नही मांगेगा। उन्होंने कहा कि इस घटना को लेकर रूस यदि ज्यादा सूचनाएं चाहता है, बातचीत करना चाहता है, संबंध सामान्य करना चाहता हैं तो हम तैयार हैं। पुतिन ने 26 नवंबर को कहा था कि वे तुर्की की माफी का इंतजार कर रहे हैं।
गौरतलब है कि सीरियाई अभियान में शामिल रूस के एक लड़ाकू विमान को तुर्की ने वायु सीमा का उल्लंघन करने पर 24 नवंबर को मार गिराया था। जिसके बाद दोनो देशों के रिश्तों में कड़वाहट और भी ज्यादा बढ़ गई है। दावुतोग्लू ने रूस से प्रतिबंधों पर फिर से विचार करने की अपील की है।