आज इन कार्यों को करने से खुल जाएगी किस्मत, आप भी न चूकें
Published: Jul 28, 2017 09:20:00 am
पंचमी तिथि में सभी चंचल व स्थिर कार्य और विवाहादि मांगलिक कार्य शुभ रहते हैं
पंचमी पूर्णा संज्ञक तिथि प्रात: 6.39 तक, तदुपरान्त षष्ठी नन्दा संज्ञक तिथि है। पंचमी तिथि में सभी चंचल व स्थिर कार्य और विवाहादि मांगलिक कार्य शुभ रहते हैं। षष्ठी तिथि में काठ की दातुन, यात्रा, उबटन व चित्रकारी को छोड़कर युद्ध, वास्तु, अलंकारादिक व मांगलिक कार्य सिद्ध होते हैं।
नक्षत्र: हस्त ‘क्षिप्र व तिङ्र्यंमुख’ संज्ञक नक्षत्र अंतरात्रि अगले दिन सूर्योदय पूर्व प्रात: 5.40 तक, तदुपरान्त चित्रा ‘मृदु व तिङ्र्यंमुख’ संज्ञक नक्षत्र है। हस्त नक्षत्र में यथा आवश्यक यात्रा, विद्या, विवाहादि, अलंकार, वस्त्र, दवाई, गृहारंभ और प्रतिष्ठादिक कार्य शुभ व सिद्ध होते हैं।
योग: शिव नामक नैसर्गिक शुभ योग दोपहर बाद 2.29 तक, तदुपरान्त सिद्ध नामक नैसर्गिक शुभ योग है। विशिष्ट योग: कुमार योग नामक शुभ योग सूर्योदय से अंतरात्रि 5.40 तक तथा दोष समूह नाशक रवियोग नामक शक्तिशाली शुभ योग भी सूर्योदय अंतरात्रि 5.40 तक है।
करण: बालव नामकरण प्रात: 6.39 तक, इसके बाद कौलवादि करण हैं।
शुभ विक्रम संवत् : 2074
संवत्सर का नाम : साधारण
शाके संवत् : 1939
हिजरी संवत् : 1438, मु.मास: जिल्काद-4
अयन : दक्षिणायन
ऋतु : वर्षा
मास : श्रावण। पक्ष – शुक्ल।
शुभ मुहूर्त: आज हस्त नक्षत्र में विवाह द्विगर्त प्रदेशीय, गृहारंभ (अग्निपंचक दोष), विपणि-व्यापार प्रारंभ, वाहन क्रय करना, मशीनरी, प्रसूति स्नान, हलप्रवहण, कूपारंभ, चूड़ाकरण, सगाई, नामकरण व अन्नप्राशन आदि के यथाआवश्यक शुभ मुहूर्त हैं।
श्रेष्ठ चौघडि़ए: आज सूर्योदय से पूर्वाह्न 10.53 तक क्रमश: चर, लाभ व अमृत, दोपहर 12.33 से दोपहर बाद 2.13 तक शुभ तथा सायं 5.33 से सूर्यास्त तक चर के श्रेष्ठ चौघडि़ए हैं एवं दोपहर 12.06 से दोपहर 1.00 बजे तक अभिजित नामक श्रेष्ठ मुहूर्त है, जो आवश्यक शुभकार्यारम्भ के लिए अत्युत्तम हैं।
व्रतोत्सव: आज ऋक उपाकर्म (शुक्ल कृष्ण यजुर्वेदियों का), जीवंतिका पूजन, कल्की जयंती, वर्ण षष्ठी तथा वन महोत्सव दिवस है। चन्द्रमा: चन्द्रमा सम्पूर्ण दिवारात्रि कन्या राशि में है। दिशाशूल: शुक्रवार को वैसे पश्चिम दिशा की यात्रा में दिशाशूल रहता है। चन्द्र स्थिति के अनुसार दक्षिण दिशा की यात्रा लाभदायक व शुभप्रद है। राहुकाल: प्रात: 10.30 से दोपहर 12.00 बजे तक राहुकाल वेला में शुभकार्यारम्भ यथासम्भव वर्जित रखना हितकर है।
आज जन्म लेने वाले बच्चे
आज जन्म लेने वाले बच्चों के नाम (ष,ण,ठ,पे,पो) आदि अक्षरों पर रखे जा सकते हैं। इनकी जन्म राशि कन्या है। जन्म रजत पाद से होने से अतीव शुभ है। सामान्यत: इनका स्वभाव कुछ विचारणीय होता है। छोटी-छोटी बातों पर शीघ्र ही नाराज होने की प्रवृत्ति होती है। पर वैसे भाग्यशाली, सम्माननीय होते हैं, कुछ कलहप्रिय होते हैं। इनका भाग्योदय लगभग 30-32 वर्ष की आयुपर्यंत होता है। कन्या राशि वाले जातकों की आज लाभप्रद व सुखद यात्रा के योग हैं। नये मित्रों से सम्मिलन होगा।