script612 की जगह Toilet बनाए 300 वो भी अधूरे, फिर भी करने चले थे ODF, हुआ हंगामा | Balrampur : 300 incomplete toilets instead of 612, however were announce to ODF, chaos | Patrika News

612 की जगह Toilet बनाए 300 वो भी अधूरे, फिर भी करने चले थे ODF, हुआ हंगामा

locationबलरामपुरPublished: Dec 04, 2016 12:22:00 pm

Submitted by:

Pranayraj rana

बरतीकला में ओडीएफ कार्यक्रम में पहुंचे ग्रामीणों व जनप्रतिनिधियों ने
किया हंगामा, दी आंदोलन की चेतावनी, जनप्रतिनिधियों का आरोप कि बिना
जानकारी दिए कागजों में चोरी-छिपे गांवों को ओडीएफ घोषित करने का चल रहा
खेल

broken toilet

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वाड्रफनगर. शौचालयों का निर्माण मानक को ताक पर रखकर किए जाने से नाराज बरतीकला के ग्रामीणों व जनप्रतिनिधियों ने गांव को ओडीएफ घोषित का विरोध शुरू कर दिया है। शनिवार को गांव में लगभग 500 ग्रामीणों ने ओडीएफ के लिए आयोजित पंडाल में जिला पंचायत पंचायत सदस्य राजू सिंह उइके के नेतृत्व में जमकर हंगामा किया।

ग्रामीणों ने बताया कि इस गांव में कुल 612 हितग्राहियों के घर में शौचालयों का निर्माण किया जाना था। लेकिन महज 300 लोगों का ही आधा-अधूरा शौचालय बनाकर ओडीएफ ग्राम घोषित करने की तैयारी कर ली गई थी। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पंचायत में बिना नींव खोदे ही कच्चे ईंट से दीवार बनाकर शौचालय का निर्माण करा दिया गया है।

इससे लोग आज भी खुले में शौच करने को मजबूर हैं। जिला पंचायत सदस्य राजू सिंह उइके ने कहा वे एक निर्वाचित जनप्रतिनिधि हैं तथा उन्हें उनके ही क्षेत्र में पंचायत को ओडीएफ घोषित करने की सूचना नहीं दी जाती है। चोरी छिपे सिर्फ कागजों में ही गांव को ओडीएफ घोषित किया जा रहा है।

ग्राम पंचायत शिवरी, बरतीकला, दुआरी, डोंगरो, चलगली, ढोढ़ी बड़का गांव, अलका व मानपुर को घटिया शौचालय निर्माण कर ओडीएफ घोषित कर दिया गया है। उइके ने कहा शौचालयों के घटिया निर्माण की अगर जांच कर दोषियों पर कार्रवाई नहीं की जाती है तो आंदोलन किया जाएगा।

शौचालय के गड्ढे को पाट दिया
बरतीकला के ओडीएफ कार्यक्रम में आई खुरखुरीपारा निवासी सविता पति नानसाय ने बताया कि शौचालय निर्माण के लिए घर में उन्होंने खुद गड्ढा खोदा था। लेकिन पंचायत द्वारा गड्ढे को पाट दिया गया तथा बिना नींव के ही शौचालय निर्माण कराया जा रहा है। इसकी गुणवत्ता को लेकर महिला शिविर में रोती नजर आई।

सीईओ व एसडीएम के निर्देश पर हो रहा काम
ग्राम पंचायत बुढ़ाडांड़ के सचिव अभय पटेल से जब घटिया शौचालय के संबंध में पूछा गया तो उसने बताया कि जो भी स्तरहीन काम हो रहा है। वो सीईओ तथा एसडीएम के दिशा-निर्देश पर हो रहा है। पहले मिट्टी के ही शौचालय बनाने के निर्देश दिए गए थे।

गुणवत्तापूर्ण बनेगा टॉयलेट
जिन ग्राम पंचायतों में सभी शौचालयों का गुणवत्तापूर्ण निर्माण हुआ है। उसी पंचायत को ओडीएफ घोषित किया जाएगा। पूर्व में 6 हजार में कच्ची ईंट से शौचालय का निर्माण कराया जाया था। लेकिन ग्रामीणों के विरोध के कारण अब 9 हजार में पक्की ईंट से शौचालय का निर्माण कार्य कराया जाना है।
अभिषेक गुप्ता, जनपद सीईओ
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