बसपा का ये प्रत्याशी मायावती के लिए बना सिरदर्द, बढ़ने लगा कार्यकर्ताओं का विरोध
जिसने मायावती को जान से मारने की रची साजिश, वह विधानसभा तक नहीं पहुंचेगा।
बाराबंकी. बाराबंकी की कुर्सी विधानसभा में बसपा के घोषित प्रत्याशी बी.पी. सिंह वर्मा खुद अपनी पार्टी के लिए ही गले की फांस बन गए हैं। यहां से बसपा के सक्रिय कार्यकर्ताओं ने अपनी पार्टी के ही प्रत्याशी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि कुछ लोगों ने मायावती को अंधेरे में रखकर ऐसे व्यक्ति को बसपा का टिकट दिलवा दिया जो मायावती को जान से मारने की साजिश में शामिल रहा है। मुखर बसपा कार्यकर्ताओं ने रविवार को अलग से मायावती का जन्मदिन मना कर केक काटा और एक बार फिर प्रत्याशी बदलने की गुहार लगाई। कार्यकर्ताओं का संदेश साफ है कि जिसने बहन जी को मारने की साजिश रची हो उसे वह विधानसभा तक नहीं पहुंचने देंगे।
मायावती के खिलाफ साजिश में शामिल
तस्वीरों में मायावती का जन्मदिन मना रहे बसपा के ये वो कार्यकर्ता हैं जो पार्टी के लिए बूथ जिताने का काम करते हैं, मगर आज यह बागी हो गए हैं। बसपा कार्यकर्ताओं का आरोप है कि पार्टी के कुछ लोगों ने मायावती को अंधेरे में रखकर बाराबंकी की कुर्सी विधानसभा सीट से बी.पी. सिंह वर्मा नाम जैसे व्यक्ति को बसपा का प्रत्याशी बना दिया। जबकि बी.पी. सिंह वर्मा ने चर्चित गेस्ट हाउस काण्ड में मायावती को जान से मारने की साजिश में अहम भूमिका निभाई थी। बसपा कार्यकर्ताओं का आरोप है कि बी.पी.सिंह वर्मा ने तब बतौर सिटी मजिस्ट्रेट गेस्ट हाउस की लाइट कटवाने का किया था, जिससे सपा के गुंडे उन्हें जान से मार सकें। बसपा कार्यकर्ता यह मानते हैं कि ऐसे प्रत्याशी को मायावती एक मिनट बर्दाश्त नहीं कर सकतीं, मगर कुछ लोगों ने उनसे यह बात छिपा कर बी.पी. सिंह को प्रत्याशी बनवा दिया।
दलित विरोधी मानसिकता के हैं बी.पी. सिंह वर्मा
बसपा से अगर टिकट बंटवारे की भूल हुई है तो कार्यकर्ता पार्टी से इस भूल को सुधारने की गुहार कर रहे हैं। यहां बसपा ने पूर्व प्रशासनिक अधिकारी बी.पी. सिंह वर्मा को प्रत्याशी बनाया है। जिनका विरोध अब बूथ स्तर से शुरू हो गया हैै। यहां इस विधानसभा के बसपा महासचिव और सेक्टर अध्यक्षों ने बसपा प्रमुख मायावती को पत्र लिखकर उनसे प्रत्याशी बदलने की गुहार लगाई है। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि घोषित प्रत्याशी बी.पी. सिंह वर्मा दलित विरोधी मानसिकता के हैं और उनके सम्बंध दूसरे दलों के नेताओं से रहे हैं। ये ऐसे प्रत्याशी हैं जिनका न बसपा के सिद्धांतों से और न बसपा के कार्यकर्ताओं से कोई लेना-देना है।
बसपा पर भारी पड़ सकता है विरोध
इस विरोध की बात इसलिए भी खास है क्योंकि विरोध करने वालों में दलित कार्यकेताओं के अलावा मुस्लिम वर्ग के भी कार्यकर्त्ता मौजूद थे। कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों ने खुद अपने आपको बसपा के घोषित प्रत्याशी वी.पी. सिंह वर्मा से अलग रखते हुए लगभग एक दर्जन से ज्यादा सेक्टर अध्यक्षों और पदाधिकारियो ने मायावती के जन्मदिन का केक काटा और जन्मदिन की खुशी मनाई।
इस दौरान आक्रोशित कार्यकर्ताओं ने बी.पी. सिंह वापस जाओ के नारे भी लगाए। इस विरोध को देखते हुए और अगर कार्यकर्ताओं के आरोप सही हैं तो यह कहा जा सकता है कि बसपा का यह निर्णय आने वाले विधानसभा चुनाव में खुद बसपा को भारी पड़ने वाला है। यह विरोध आखिर बसपा कैसे रोकेगी यह आने वाला समय ही बताएगा।
Home / Barabanki / बसपा का ये प्रत्याशी मायावती के लिए बना सिरदर्द, बढ़ने लगा कार्यकर्ताओं का विरोध