नई दिल्ली. दिग्गज कंपनियां हों या स्टार्टअप्स, सभी पिछले कुछ दिनों से छंटनी कर रहे हैं। ऐसे दौर में अगर कोई कंपनी 40 से ज्यादा नए ऑफिस खोल रही हो, और उनमें नई भर्तियां कर रही हो, तो चौंकना लाजिमी है। बीटूबी बिजनेस की दिग्गज कंपनी इंडियामार्ट इसी राह पर चल रही है। इसके पीछे […]
नई दिल्ली. दिग्गज कंपनियां हों या स्टार्टअप्स, सभी पिछले कुछ दिनों से छंटनी कर रहे हैं। ऐसे दौर में अगर कोई कंपनी 40 से ज्यादा नए ऑफिस खोल रही हो, और उनमें नई भर्तियां कर रही हो, तो चौंकना लाजिमी है। बीटूबी बिजनेस की दिग्गज कंपनी इंडियामार्ट इसी राह पर चल रही है। इसके पीछे कंपनी के संस्थापक और सीईओ दिनेश अग्रवाल हैं, जो हर वक्त बाजार को उम्मीद की नजर से देखते हैं।
दिनेश अग्रवाल सीईओ, इंडियामार्ट
बहराइच में जन्म। लखनऊ से स्कूली पढ़ाई। कानपुर से ग्रेजुएशन। 90 के दशक की शुरुआत में अमरीका में नौकरी।
उम्मीद और मेहनत का नतीजा
अक्टूबर 1995 में दिनेश अमरीका से नौकरी छोड़कर भारत आए। इंडियामार्ट की शुरुआत की। शुरू में कई कंपनियों की वेबसाइट बनाई, लेकिन जल्द ही उन्हें इसकी सीमाएं समझ आईं। फिर उन्होंने इंडियामार्ट पर कंपनी उत्पादों की सूची बनाना शुरू किया। अपनी कामयाबी में वे परिवार और पत्नी की भूमिका अहम मानते हैं।
मुश्किल वक्त भी देखा
इंडियामार्ट शुरू होने के कुछ ही साल बाद वल्र्ड ट्रेड सेंटर ध्वस्त हो गया। इस दौर में इंडियामार्ट का बिजनेस 40 प्रतिशत तक गिर गया। दिनेश बताते हैं कि एक दौर ऐसा भी आया जब कर्मचारियों को सेलरी के बदले कंपनी के शेयर दिए गए। “धैर्य के साथ कोई बिजनेस शुरू करते हैं और लगातार जुटे रहते हैं, तो कामयाबी निश्चित है। लंबी सोच और जरूरी धैर्य कामयाबी की पहली शर्त हैं।”
ये है इंडियामार्ट का मार्केट
3 करोड़ खरीदार, 2.5 करोड़ विक्रेता और 3.3 करोड़ उत्पाद सूचीबद्ध हैं इंडियामार्ट पर 3000 से ज्यादा कर्मचारी 100 से ज्यादा ऑफिस हैं फिलहाल। जल्द ही 40 नए ऑफिस खोलने की योजना।