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बोर्ड के इशारे पर धोनी ने छोड़ी कप्तानी, खुद नहीं लिया था फैसला 

Published: Jan 09, 2017 06:45:00 pm

हालांकि बीसीसीआई के चीफ सिलेक्टर एमएसके प्रसाद ने इन रिपोर्ट्स को खारिज किया है। 

Mahendra Singh Dhoni

Mahendra Singh Dhoni

नई दिल्ली. एक दिवसीय और टी ट्वेंटी मैचों से कप्तानी छोड़ने का फैसला धोनी ने खुद नहीं लिया था। रिपोर्ट्स की मानें तो दोनों फ़ॉर्मेट से उन्हें कप्तानी छोड़ने को कहा गया था। रिपोर्ट्स के मुताबिक़ खुद बोर्ड के चीफ सिलेक्टर एमएसके प्रसाद ने इन्हें बोर्ड के मकसद के बारे में बताया था। हालांकि रिपोर्ट्स सामने आने के बाद बीसीसीआई के चीफ सिलेक्टर प्रसाद ने रिपोर्ट्स को खारिज किया है। उन्होंने कहा, धोनी के फैसले को लेकर रिपोर्ट्स में कहीं जा रही बातें झूठी हैं। 



नागपुर में मिले थे प्रसाद 

बीसीसीआई सूत्रों के हवाले से हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट की मानें तो धोनी एक दिवसीय फ़ॉर्मेट से कप्तानी छोड़ने के मूड में नहीं थे। हालांकि इग्लैंड के लिए टीम की घोषणा से पहले नागपुर में गुजरात और झारखंड के बीच रणजी ट्रॉफी सेमीफाइनल मैच के दौरान एमएसके प्रसाद से उनकी मुलाक़ात हुई। मुलाक़ात के कुछ घंटों बाद ही उन्होंने कप्तानी छोड़ने का एलान किया।

लोढ़ा-मुद्गल कमेटी की रिपोर्ट का भी था दबाव 

सूत्रों का कहना है कि आईपीएल में स्पॉट फिक्सिंग के बाद गठित लोढ़ा कमेटी की सिफारिशों का दबाव भी धोनी को कप्तानी से हटाने की वजहों में से एक है। 2013 के जिस मैच में स्पॉट फिक्सिंग की बातें सामने आई थी, उसकी जांच करने वाली जस्टिस मुद्गल कमेटी ने अपनी रिपोर्ट में कुछ भारतीय खिलाड़ियों का नाम लिया था। इसमें धोनी का भी नाम शामिल था। हालांकि धोनी समेत खिलाड़ियों को दोषी नहीं बताया गया था, पर उन्हें क्लीन चिट भी नहीं दी गई थी। सूत्रों का कहना है कि दोनों कमेटी की रिपोर्ट का दबाव भी धोनी को कप्तानी से हटाने के लिए था। बता दें कि धोनी आईपीएल में चेन्नई सुपरकिंग्स के कप्तान थे। यह टीम बोर्ड के पूर्व चीफ श्रीनिवासन की थी। स्पॉट फिक्सिंग में श्रीनिवासन का नाम खूब उछला था।

सितंबर में ही धोनी को हटाने का फैसला ले लिया गया था 

धोनी को कप्तानी से हटाए जाने का फैसला पिछले साल सितंबर में ले लिया गया था। नई चयन समिति के के बाद संदीप पाटिल की जगह एमएसके प्रसाद को बीसीसीआई का चीफ सिलेक्टर बनाया गया था। धोनी को पहले भी हटाने की कोशिश हुई थी। सूत्रों के मुताबिक़ पाटिल से पहले पूर्व चीफ सिलेक्टर मोहिंदर अमरनाथ भे उन्हें बतौर कप्तान हटाना चाहते थे। लेकिन पूर्व बीसीसीआई चीफ श्रीनिवासन की वजह से ऐसा नहीं हो पाया। बाद में खुद अमरनाथ को चीफ सिलेक्टर पद से हटना पड़ा। धोनी को श्रीनिवासन का नजदीकी बताया जाता है। 

धोनी का मेल भी रिपोर्ट्स के दावों को करता है कन्फर्म 

कप्तानी छोड़ने को लेकर बीसीसीआई को धोनी द्वारा किए मेल से भी रिपोर्ट्स की चर्चाओं को बल मिलता है। धोनी ने बोर्ड को लिखा था, “वह कोहली का मेंटर बनने के लिए राजी हैं।” शब्दों से जाहिर होता है कि फैसला उनका अपना नहीं बल्कि किसी के कहने पर लिया गया था। 

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