खाद्य विभाग ने गुमराह करने के मामले में माधुरी को नोटिस जारी कर दिया है, उनसे पूछा गया है कि क्या वे खुद रोज मैगी खाती है ।
नई दिल्ली।
हरिद्वार के खाद्य विभाग ने गुमराह करने के मामले में अभिनेत्री माधुरी दीक्षित को
नोटिस जारी कर दिया है. नोटिस में उनसे पूछा गया है कि क्या वे खुद रोज मैगी खाती
है । प्राधिकरण ने ऎसे ही कई सवालों के जवाब पंद्रह दिन के भीतर मांगे हैं। विभाग
ने माधुरी से पूछा है कि आप किस मानक के तहत ये विज्ञापन कर रही हैं जबकि मैगी में
कुछ ऎसे तत्व पाए गए हैं जिन पर रोक लगाई गई है, विभाग ने माधुरी को ये नोटिस
गुमराह करने के आरोपों के तहत भेजा है। प्राधिकरण को जवाब न मिले या वह संतोषजनक न
हुए तो माधुरी के खिलाफ हरिद्वार एडीएम की कोर्ट में मुकदमा भी दर्ज हो सकता है।
भारतीय खाद्य सुरक्षा प्राधिकरण नई दिल्ली ने इन दिनों पूरे देश में मैगी
की सैंपलिंग शुरू कराई है। इस सिलसिले में हरिद्वार में बुधवार को पहले स्पेंसर मॉल
में तीन सैंपल और गुरूवार को वहीं के विशाल मेगा मार्ट हरिद्वार में दो सैंपल लिए।
ये सैंपल रूद्रपुर लैब में जांच के लिए भेजे गए हैं। मैगी में खतरनाक रसायन मिलने
के बाद स्वास्थ्य विभाग ने इसका इस्तेमाल रोकने के लिए एडवाइजरी जारी की है।
खाद्य सुरक्षा अधिकारी दिलीप जैन ने बताया कि भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं
मानक प्राधिकरण के निर्देश पर दो दिनों में हरिद्वार से मैगी की सभी वरायटी के लिए
गए पांच सैंपलों को जांच के लिए उत्तराखंड की रूद्रपुर प्रयोगशाला भेज दिया गया।
वहां से मिलने वाली रिपोर्ट के आधार पर नेस्ले इंडिया कंपनी के खिलाफ कार्रवाई की
जाएगी।
जैन के मुताबिक मैगी बनाने वाली नेस्ले इंडिया कंपनी की ऑफिशल
वेबसाइट पर माधुरी को आटा मैगी के बारे में यह कहते हुए दर्शाया गया है कि इसे खाने
से तीन रोटियां खाने के बराबर फाइबर मिलता है और शरीर सेहतमंद रहता है। उन्होंने
बताया कि माधुरी को नोटिस उनके मुंबई के पते पर भेजा गया है। उनसे इस बात को लेकर
जवाब मांगा गया है कि विज्ञापन में उन्होंने मैगी खाने से स्वास्थ्य के दावे कि स
आधार पर किए? उनसे यह भी पूछा गया है कि क्या वह खुद भी मैगी का इस्तेमाल करती हैं।
अगर नहीं करती हैं तो क्यों?