रोहतक। हरियाणा की एक दलित छात्रा को गैंगरेप का मामला वापस न लेने पर आरोपियों द्वारा फिर से गैंगरेप का शिकार बनाए जाने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। पुलिस के मुताबिक 3 साल पहले पांच लोगोंं ने उसके साथ गैंगरेप किया था, जिसके लिए लड़की ने केस दर्ज कराया था। पीडि़त दलित लड़की पर आरोपी केस वापस लेने का दबाव बना रहे थे, जब लड़की ने इनकार किया तो आरोपियों ने फिर से उसके साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया।
3 साल पहले हुआ था गैंगरेप
पुलिस के मुताबिक पीडि़ता चारपाई बनाने वाले कारीगर की बेटी हैं जिसके साथ 2013 में भिवानी में गैंगरेप हुआ था। इसके बाद आरोपियों ने परिवार को जान से मारने की धमकी लेकर उन्हें रोहतक पलायन करने पर मजबूर कर दिया। इसके बाद बुधवार को पांच लोगों ने उसी लड़की को फिर से अगवा कर लिया और उसके साथ गैंगरैप किया। पीड़िता रोहतक के एक कॉलेज से मास्टर्स की पढ़ाई कर रही है। आरोपी लड़की को अगवा कर नजदीक ही एक सुनसान जगह ले गए और उसके साथ गैंगरेप किया। इसके बाद बदमाशों ने लड़की को मरने के लिए झाडिय़ों में फेंक दिया। वहां से गुजरने वाले एक शख्स ने उसे बेहोश देखा तो हॉस्पिटल पहुंचाया।
पांच आरोपियों पर मामला दर्ज
फिर से गैंगरेप की शिकार हुई लड़की ने की शिकायत पर पांचों आरोपियों- अनिल, राजू उफ जगमोहन, संदीप सिंह, मौसम कुमार और आकाश के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। सभी आरोपी 25-30 साल की उम्र के हैं और पीडि़ता के कॉलेज के छात्र रह चुके हैं। इनमें से चार छोटा-मोटा धंधा या नौकरी करते हैं, जबकि एक बेरोजगार है। इनममें से दो आरोपी दलित हैं, बाकी तीनों ‘ऊपरी जातिÓ से ताल्लुक रखते हैं। वारदात के तीन दिन बाद भी, पुलिस किसी आरोपी को गिरफ्तार नहीं कर सकी है।
जमानत पर छूट कर आए थे बाहर
पीडि़ता के भाई ने कहा कि 2013 में पांच में दो आरोपियों को पकड़ा गया था, मगर वे जमानत पर बाहर आ गए। उसके अनुसार, उन लोगों ने बाकी तीनों की गिरफ्तारी और जमानत पर बाहर दो को फिर से अरेस्ट करने के लिए कोर्ट में मामला दाखिल किया। पीडि़ता के भाई का कहना है कि आरोपियों ने अदालत के बाहर समझौता करने की धमकियां दी थी, लेकिन हम डटे रहे।
दलित संगठनों ने किया विरोध प्रदर्शन
घटना के बाद रविवार को कई दलित संगठनों ने रोहतक के विधायक मनीष ग्रोवर के घर के बाहर विरोध प्रदर्शन किए। ऑल इंडिया शेड्यूल्ड क्लास एंप्लॉयीज फेडरेशन के प्रदेश अध्यक्ष आरके रंगा ने कहा कि यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि आरोपियों को सब जानते हैं लेकिन पुलिस उन्हें पकड़ नहीं पाई, पीडि़ता को भी कोई सुरक्षा नहीं दी गई। वहीं, डीएसपी पुष्पा खत्री ने कहा कि पुलिस आरोपियों को दबोचने के लिए जगह-जगह छापे मार रही है और आगे की कार्रवाई फॉरेंसिक रिपोर्ट के बाद की जाएगी।