एक साल में 8.6 प्रतिशत महंगा हुआ आवास
सूचकांक सितंबर 2015 में समाप्त तिमाही के 151.6 से घटकर दिसंबर 2015 में समाप्त तिमाही में 151.1 पर आ गया
वॉशिंगटन। देश में आवास के दाम एक साल में 8.6 प्रतिशत बढ़ गए हैं, जबकि वैश्विक स्तर पर चार साल बाद किसी तिमाही में इसमें गिरावट दर्ज की गई है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की ओर से जारी आंकड़ों के अनुसार, लगातार 16 तिमाहियों में बढऩे के बाद पिछले साल की अंतिम तिमाही में आवास की कीमतों में 0.33 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई। इसका सूचकांक सितंबर 2015 में समाप्त तिमाही के 151.6 से घटकर दिसंबर 2015 में समाप्त तिमाही में 151.1 पर आ गया।
सूचकांक में सबसे ज्यादा 33.36 प्रतिशत की गिरावट यूक्रेन में दर्ज की गई। इसके बाद संयुक्त अरब अमीरात में 14.29 प्रतिशत, रूस में 13.41 प्रतिशत, ब्राजील में 9.18 प्रतिशत तथा लातविया में 7.39 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई। ग्लोबल हाउङ्क्षसग वॉच नामक इस रिपोर्ट के अनुसार भारत उन देशों में है जहां वैश्विक रुख के विपरीत रिहाइश महंगी हुई है। हालांकि, भारत के लिए ताजा आंकड़े 2015 की 30 सितंबर को समाप्त तिमाही के हैं।
इस तिमाही में साल दर साल आधार पर आवास की कीमत 8.61 फीसदी बढ़ी है। कीमत में सबसे तेज बढ़ोतरी कतर में दर्ज की गई जहां दाम 15.50 प्रतिशत बढ़े हैं। न्यूजीलैंड में दाम 14.59 प्रतिशत, हांगकांग में 14.18 प्रतिशत, स्वीडन में 13.74 प्रतिशत तथा हंगरी में 10.92 प्रतिशत बढ़े।
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