पारंपरिक पेय पदार्थो से पाएं गर्मी में राहत
Published: May 07, 2015 10:22:00 am
छाछ को ज्यादातर खाने के बाद ही पीया जाता है, रोजाना छाछ पीने से पेट को ठंडक
मिलती है
गर्मियों में अक्सर लोग डिहाईड्रेशन का शिकार हो जाते हैं जिसका मुख्य कारण है शरीर में पानी की कमी होना। गला सूखना, डायरिया, उल्टी, कब्ज, ज्यादा पसीना आना या क म पसीना आना आदि समस्याएं इस मौसम में आम हो जाती हैं। इन सभी परेशानियों को दूर करने के लिए कुछ ऎसे देसी फंडे अपनाए जा सकते हैं जो कम समय में आपको ज्यादा आराम दे सकते हैं-
कैरी का पना
कच्चे आम यानी कैरी से तैयार किया गया पना गर्मियों में अमृत के समान माना गया है। लू से बचाने के साथ ही यह डिहाईड्रेशन भी दूर करता है। विटामिन-सी वाला पना डायरिया, पाचन व एनीमिया से बचाता है। एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होने से यह कैंसर से बचाव कर शरीर को ठंडक भी देता है।
छाछ
इसे गर्मियों का सबसे सस्ता और असरदार पेय माना जाता है। छाछ को ज्यादातर खाने के बाद ही पीया जाता है। रोजाना छाछ पीने से पेट को ठंडक मिलती है। आयुर्वेद के अनुसार गर्मियों में दिन में दो बार छाछ पी सकते हैं। काला नमक, हींग और भुना जीरा मिलाकर पीने से पेट संबंधी रोगों में आराम मिलता है।
सत्तू
चने को भूनकर बनाए जाने वाले सत्तू में प्राकृतिक फाइबर और कार्बोहाइड्रेट पर्याप्त मात्रा में होते हैं। जब तेज गर्मी पड़ रही हो तो सत्तू तुरंत ऊर्जा से भर देता है और शरीर में पानी की कमी को भी दूर करता है। यह शरीर को ठंडक पहुंचाने के साथ-साथ डायबिटीज को भी दूर रखता है।
मिल्क शेक
कैल्शियम और ऊर्जा का बेहतरीन स्रोत मिल्क शेक स्वाद में लाजवाब होता है और इसे किसी भी समय पीया जा सकता है। इसे केला, कॉफी, चॉकलेट, वनीला, स्ट्रॉबेरी जैसे स्वाद में बनाने का चलन है। यह प्रोटीन से तो भरा हुआ होता ही है, फलों को शामिल करने से इसमें फाइबर की मात्रा भी बढ़ जाती है।
नींबू पानी
गर्मी को मात देने का इससे बेहतर इलाज नहीं हो सकता। नींबू पानी गले, कब्ज, किडनी स्टोन और मसूड़ों की समस्याओं में राहत पहुंचाता है। इससे ब्लड प्रेशर व तनाव कम होता है। यह त्वचा को स्वस्थ बनाने के साथ लिवर के लिए भी फायदेमंद होता है। यह पाचनक्रिया को दुरूस्त कर वजन घटाता है।