रेसट्रैक प्लाया, डेथ वैली, कैलिफोर्निया
अमरीका के कैलिफोर्निया में स्थित इस जगह में पत्थर अपने आप खिसकते हैं। इन्हें सेलिंग स्टोंस का नाम दिया गया है। ये रेसट्रैक एरिया में 320 किलो तक के पत्थरों को जगह बदलते देखा गया है। इसे लेकर कई साइंटिस्ट रिसर्च कर रहे हैं। इसमें ये भी सामने आया है कि सर्द रात में ये बर्फ की पैनल्स की मदद से 224 मीटर तक दूरी तय कर लेते हैं।
बरमूडा ट्राएंगल
यह अमरीका के फ्लोरिडा, प्यूर्टोरिको और बरमूडा तीनों को जोडऩे वाला एक ट्राएंगल है। यहां पहुंचते ही बड़े से बड़े समुद्री और हवाई जहाज गायब हो जाते हैं। ट्राएंगल के पास पहुंचते ही न तो जहाज मिलता है और न ही उसके यात्री। वैज्ञानिक कई सालों से इस रहस्य को सुलझाने में लगे हैं कि अटलांटिक महासागर की गहराइयों में आखिर ऐसा क्या है, जो अमरीका के दक्षिण पूर्व तट पर बने बरमूडा ट्राएंगल पर आए जहाजों को निगल जाता है।
डोर टू हेल, तुर्कमेनिस्तान
यह आग का गोला डोर टू हेल यानी कि नरक के द्वार के नाम से जाना जाता है। ये काराकुम रेगिस्तान के दरवेज गांव में मौजूद है। ये गड्ढा एक गैस के्रटर है, जो मिथेन गैस के चलते पिछले 45 सालों से जल रहा है। ये 229 फीट चौड़ा है और इसकी गहराई 65 फीट है।
आइलैंड ऑफ डॉल्स, मेक्सिको
आइलैंड ला इस्ला दी ला मुनेकॉस, डॉल्स आइलैंड के नाम से ज्यादा मशहूर है। यह मेक्सिको सिटी से 17 मील साउथ में स्थित है। यहां हजारों की संख्या में डरावनी और टूटी-फूटी डॉल्स लटकी हुई हैं। कहा जाता है कि इस आइलैंड पर जाने वाले की मौत हो जाती है और बाद में वह एक डॉल के रूप में किसी पेड़ पर टंगा मिलता है, हालांकि यह कितना सच है इसके बारे में कहना मुश्किल है।