नई दिल्ली। संविधान दिवस को लेकर दिल्ली सरकार की ओर से जारी किए गए विज्ञापनों पर विवाद हो गया है। अंग्रेजी अखबारों में दिए गए इन विज्ञापनों में संविधान की प्रस्तावना में समाजवाद और धर्मनिरपेक्ष शब्दों को शामिल नहीं किया गया। इसके बाद दिल्ली सरकार ने इस पर माफी मांगते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं।
सरकार की ओर से जारी बयान में कहाकि, मुख्यमंत्री ने इस मामले में कड़ा रूख अपनाया है और सूचना एवं प्रसारण निदेशक को जांच के आदेश दिए हैं और चार दिन के अंदर रिपोर्ट देने को कहा है। अधिकारियों का कहना है कि सूचना एवं प्रसारण निदेशक से पूछा गया है कि प्रस्तावना के इतने महत्वपूर्ण शब्द कैसे छूट गए। जांच में पता लगा जाएगा कि मामले में कोई गड़बड़ी तो नहीं हुई है।
उल्लेखनीय है समाजवाद और धर्म निरपेक्ष शब्द संविधान की वास्तविक प्रस्तावना में शामिल नहीं थे। बाद में 1976 में 42वें संविधान संसोधन में इन्हें जोड़ा गया था। दिल्ली की आम आदमी सरकार के लिए यह शर्मसार कर देने वाली स्थिति है क्योंकि इसी साल 26 जनवरी के मौके पर उन्होंने इस तरह की गलती पर केन्द्र सरकार की आलोचना की थी।
Home / Political / दिल्ली सरकार के Ad में सेक्युलर और समाजवाद नहीं लिखा, बवाल