24 जुलाई तक बिलिंग के लिए तैयार हो जाएगा जीएसटीएन नेटवर्क
Published: Jul 16, 2017 06:03:00 pm
कारोबारी 24 जुलाई से जीएसटीएन के पोर्टल पर अपनी बिक्री और खरीददारी के बिल अपलोड कर सकेंगे। पोर्टल पर 1 जुलाई के बाद जनरेट हुए इनवॉइस को अपलोड किया जा सकेगा।
नई दिल्ली। कारोबारी 24 जुलाई से जीएसटीएन के पोर्टल पर अपनी बिक्री और खरीददारी के बिल अपलोड कर सकेंगे। पोर्टल पर 1 जुलाई के बाद जनरेट हुए इनवॉइस को अपलोड किया जा सकेगा। जीएसटी का आईटी नेटवर्क का काम देख रही जीएसटीएन नेटवर्क ने इसकी जानकारी दी।जीएसटी नेटवर्क के चेयरमैन नवीन कुमार के मुताबिक 24 जुलाई से जीएसटीएन पोर्टल पर बिल अपलोड करने की सुविधा शुरू हो सकती है। जिसके बाद कारोबारी अपने स्तर पर हर रोज या हफ्ते में कभी भी बिल को इस पोर्टल पर अपलोड कर सकते हैं। इससे कारोबारियों को यह फायदा मिलेगा कि वो महीने के अंत में बिल अपलोड करने के झंझट से बच जाएंगे।
क्यों जरुरी है बिल अपलोड करना
जीएसटी के तहत इनपुट टैक्स क्रेडिट क्लेम करने के लिए 200 रुपए और उससे ज्यादा की खरीद और बिक्री के बिल जारी करने होते हैं। यही नहीं, इन्हें सीरियल वाइज तैयार भी रखना पड़ता है। जीएसटीएन ने पिछले महीने ही बिजनेस के लिए ऑफलाइन एक्सेल फॉर्मेट लॉन्च किया था। इस पर वह अपना बिल के रिकॉर्ड मेंटेंन कर सकते हैं और 24 जुलाई से यह एक्सेल शीट पोर्टल पर अपलोड की जा सकती है।
कारोबारियों को मिलेगी हर मदद
जीएसटीएम के चेयरमैन नवीन कुमार ने कहा कि बिल को पोर्टल पर अपलोड करने में कारोबारियों को कोई दिक्क्त न हो इसके लिए एक वीडियो भी पोर्टल पर डाल दिया जाएगा। इसके अलावा कॉल सेंटर हेल्पडेस्क भी बनाई गई है। जहां कोराबरियों किसी भी तरह की जानकारी ले सकते हैं। यहां बिल अपलोड के अलावा जीएसटी से जुड़ी हर चीज की जानकारी मिलेगी।
69 लाख कारोबारी जुड़ चुके हैं नेटवर्क से
जीएसटीएन नेटवर्क के चेरमैन नवीन कुमार के मुताबिक अब तक 69 लाख से ज्यादा एक्साइज, वैट और सर्विस टैक्स एसेसीज जीएसटीएन पोर्टल पर जुड़ चुके हैं। इसके अलावा करीब 5 लाख नए रजिस्ट्रेशन अब तक हुए हैं। जबकि जीएसटीएन नेचवर्क पर करीब 80 लाख कारोबारियों को जोड़ने की योजना है यानी अभी भा 11 लाख कारोबारियों को नेटवर्क से जोड़ना बाकी है। नवीन कुमार के मुताबिक ट्रेड और इंडस्ट्री एसोसिएशन दिन में 10 हजार बिल जारी करते हैं।