शहर के पावटा क्षेत्र स्थित स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया (एसबीआई) की शाखा के कुछ लॉकरों में पानी भरने से लोगों के लाखों के गहने खराब हो गए।
बैंक के तहखाने में स्थित लॉकरों में भू-जल भर गया, जिससे लोगों को यह नुकसान उठाना पड़ा। वहीं बैंक को भी करीब डेढ़ लाख रुपए कीमत की स्टेशनरी से हाथ धोना पड़ा। अब हालात ये हैं कि पीडि़त लॉकर होल्डर अपने नुकसान की भरपाई के लिए बैंक के चक्कर काट रहे हैं, उधर बैंक के जिम्मेदारों ने लोगों के नुकसान की सूचना अपने उच्चाधिकारियों को दी है।
बावड़ी का वॉटर पम्प खराब
एसबीआई की पावटा शाखा के पास ही हाथियों की बावड़ी है। बैंक से मिली जानकारी के अनुसार अक्टूबर में वाटर पम्प खराब हो गया। इससे बावड़ी के आसपास के क्षेत्र में भूजल स्तर बढ़ गया और बैंक के तहखाने में भी पानी भर गया।
तहखाने में बैंक के 400 लॉकर हैं, जिनमें से कुछ में पानी भर गया। इससे लॉकरों में रखे गहने व उसमें लगे सजावटी कपड़े और अन्य सामग्री खराब हो गई। तहखाने में रखी बैंक की डेढ़ लाख रुपए कीमत की स्टेशनरी व फाइलें भी भीग गईं।
नुकसान के एक माह बाद मिली सूचना
बीजेएस कॉलोनी निवासी मान सिंह ने बताया कि अक्टूबर में बैंक के लॉकरों में पानी भर गया था, लेकिन उसको बैंक की ओर से हाल ही 24 नवम्बर को एक पत्र मिला, जिसमें लॉकर में पानी भरने की सूचना मिली। जब बैंक जाकर लॉकर चैक किया तो उसमें रखे स्वार्णाभूषणों के सजावटी कपड़े व अन्य कीमती सामान (मोती, नगीने आदि) खराब हो चुके थे।
साथ ही गहनों पर काई जमा हो चुकी थी। इस बारे में बैंक प्रबंधक से मिले तो उन्होंने सोमवार को उच्चाधिकारियों से मिलवाने की बात कही।
बदलना चाहते हैं बैंक इमारत
बैंक की इमारत नीचे स्थान पर स्थित होने की वजह से यहां भूजल की समस्या व बरसात में पानी की समस्या बनी रहती है। इसको लेकर बैंक प्रशासन बैंक को इस इमारत से स्थानांतरित करने के प्रयास कर रहा है। इसके लिए उन्होंने प्रक्रिया भी शुरू कर दी है।
सीधी बात-बैंक प्रबंधक राजेश्वर प्रसाद
सवाल- क्या बैंक लॉकर में भूजल भरने से लोगों के गहने खराब हुए हैं?
जवाब- कुछ लॉकरों में पानी भर गया था, जिससे लोगों के गहनों में नुकसान हुआ है। बैंक की डेढ़ लाख की स्टेशनरी भी खराब हुई है। अब तहखाने से पानी निकाल दिया है।
सवाल- ग्राहकों के नुकसान की भरपाई के लिए बैंक की ओर से क्या प्रयास किया जा रहा है?
जवाब- इस बारे में उच्चाधिकारियों को सूचित कर दिया है। आगे दिशानिर्देशानुसार कार्रवाई करेंगे।