कन्नौज के गुरसहायगंज में बच्चों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा बांटी जाने वाली दवा जहर बन गयी
कन्नौज.कन्नौज के गुरसहायगंज में बच्चों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा बांटी जाने वाली दवा जहर बन गयी। शनिवार ‘राष्ट्रिय कृमि मुक्ति दिवस’ था और बच्चों को पेट के कीड़ों से मुक्ति दिलाने के लिए जनपद के स्वास्थ्य विभाग ने पेट के कीड़ों को मारने वाली दवा स्कूली बच्चों में बांटी थी। जनपद के महर्षि मिशन इंटर कॉलेज के बच्चों को भी यह दवा खिलाई गयी दबा खाने से लगभग 60 बच्चे बीमार पड़ गए।
जिनमें से 10 की नाजुक हालत को देखते हुए जिला अस्पताल रिफर किया गया। घटना की सूचना मिलते ही जिले के आलाधिकारी भी मौके पर पहुंच गए आनन- फानन में एम्बुलेंस से बच्चों को इलाज के लिए गुरसहायगंज सरकारी अस्पताल और जिला अस्पताल में भर्ती करा दिया।
कन्नौज के गुरसहायगंज क्षेत्र के नबादा गांव के महर्षि मिशन इण्टर कॉलेज में तीन सौ अड़तालीस बच्चों को पेट के कीड़े मारने की दवा एलमैन्डाजोल दवा खिलाई गयी थी। दवा खाने के कुछ देर बाद बच्चों को चक्कर आने की शिकायत पैदा हुयी तो उनहोंने अध्यापकों को इसकी जानकारी दी। इस पर बच्चों को बार-बार पानी पीने की सलाह दी गयी। बच्चों पर दवा का रिएक्शन बढ़ता रहा। लेकिन स्कूल स्टाफ आपस में बच्चों की परेशानी को ड्रामा करना बताता रहा। जब लगातार दवा का कुप्रभाव बच्चों पर बढ़ने से संख्या बढ़ी तब स्कूल प्रशासन हरकत में आया।
कई बच्चों के अभिभावक पहुंच गए और घटना पर हंगामा खड़ा होने की स्थिति पैदा हो गयी। देखते ही देखते दबा खाने से बीमार लगभग 60 की हालात बिगड़ने लगी। इसमें दस बच्चों पर दवा का बुरा असर रहा था। महर्षि मिशन नबादा इण्टर कॉलेज में स्वास्थ्य विभाग से भेजी गयी एलमैन्डाजोल दवा 348 बच्चों को अध्यापकों ने खाने के लिए बांटी थी।
दवा बाद लगभग 60 बच्चे बीमार पड़ गए। कॉलेज के शिक्षकों ने बच्चों को दवाइयां बांटी थी और दवा को खाने के बाद बच्चे बीमार हुए। दबा खाने के बाद ही बच्चों को उल्टियां और चक्कर आने की शिकायत शुरू हुयी। हालांकि डॉक्टर मानते है दवा का कोई साइड इफ़ेक्ट नहीं होता है।
सभी बीमार बच्चों को आनन-फानन में सीएचसी में भर्ती कराया गया। घटना कि सूचना पर जिले के आलाधिकारियों ने बीमार छात्रों से अस्पताल पहुंचकर हाल चाल लिये। फिलहाल बीमार बच्चों का इलाज चल रहा है।