scriptमुस्लिम युवक ने राधाकृष्ण मंदिर का करवाया निर्माण, दोनों समुदाय के लोग करते हैं पूजा अर्चना | Muslim man build Radha Krishan Temple in Murra Village Rasulabad | Patrika News
कानपुर

मुस्लिम युवक ने राधाकृष्ण मंदिर का करवाया निर्माण, दोनों समुदाय के लोग करते हैं पूजा अर्चना

कानपूर देहात में एक ऐसा मुस्लिम युवक है जिसने राधा-कृष्ण का मंदिर बनवाया है।

कानपुरJul 04, 2016 / 12:22 pm

आकांक्षा सिंह

lord krishna

lord krishna

विनोद निगम 
कानपुर। आज जहां पूरे विश्व में धर्म के नाम पर लोगों का कत्ल किया जा रहा है। धर्म के नाम पर जहां सियासतदान समाज को बांटने और राजनैतिक लाभ लेने की कोशिश करते हैं वहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं जो ऐसे नेताओं के बहकावे में आए बिना एकता की मिशाल कायम किए हुए हैं। 

कानपूर देहात में एक ऐसा ही मुस्लिम युवक है जिसने राधा-कृष्ण का मंदिर बनवाया है। जहां रोजाना हिन्दुओं के साथ मिलकर मुस्लिम भी पूजा-पाठ करते हैं। रसूलाबाद इलाके में स्थित मुर्रा गांव में हिन्दू-मुस्लिम मिश्रित आबादी रहती है। इसी गांव के रहने वाले रईस मोहम्मद ने राधा-कृष्ण का एक भव्य मंदिर बनवाया है। मंदिर में अखंड रामायण पाठ के साथ साथ भजन कीर्तन भी होते रहते हैं और इस दौरान यहां मुस्लिम भी उसी तरह झूमते नजर आते हैं जिस तरह हिन्दू।

डॉक्टरों ने दिया जवाब कृष्ण ने बचाई जान 

रईस ने बताया कि, उसकी पत्नी गंभीर बीमारी से पीड़ित थी और सभी डॉक्टरों ने जवाब दे दिया था। ऐसे में हताश होकर एक दिन उसने राधा-कृष्ण मंदिर के बाहर बैठकर फरियाद की। उसने मन्नत मांगी कि, यदि उसकी पत्नी अच्छी हो गई तो वह मंदिर बनवाएगा। चमत्कार हुआ और कुछ ही दिन में उसकी पत्नी ठीक हो गई। तभी से रईस के मन में भगवान के प्रति आस्था जागी और उसने मंदिर का निर्माण करवाया। अब इस मंदिर में दोनों धर्मों के लोग पूरी श्रद्धा से पूजा पाठ और भजन करते हैं। ग्रामीण अजय साहू के मुताबिक, जब से इस मंदिर का निर्माण गांव में हुआ है, तब से गांव का माहौल ही बदल गया है। अब कोई भी हिन्दू या मुसलमान को लेकर भेदभाव नहीं करता। 

खुद की मजदूरी, फावड़ा चलाया

रईस ने बताया कि, जब मंदिर का निर्मण कराने की मैंने ठानी तो पैसे के साथ खुद मजदूर बनकर फावड़ा चलाया और अपने हाथ से ईंट कारीगर को दी। रईस ने कहा, वह इस समय रोजे से है, बावजूद वह हर दिन मंदिर आता है। पूरे परिसर की साफ सफाई खुद करता है। बताया, आज लोग धर्म के नाम पर आपस में लड़ रहे हैं और इंसान ही इंसान का कत्ल कर रहे हैं। रईस ने कहा, वह हमारे गांव आकर देखें, जहां राम रहीम उन्हें दिख जाएंगे। रईस के मुकाबिक इस गांव में कभी संप्रदायिक महौल कभी खराब नहीं हुआ। कहा, देश विदेश में लोग इस्लाम के नाम पर इंसानियत का कत्ल कर रहे हैं, जबकि पाक ए कुरान में कहीं भी इसका जिक्र नहीं है। रईस को कुरान की जितनी आयतों से लगाव है उतना गीता से प्यार है उसकी जुबान पर पूरी गीता रटी है। 

धूमधाम से मनाया जाता है कृष्ण जन्मदिन

रईस ने बताया कि, हर साल कृष्ण जन्म के दिन दोनों समुदाय के लोग मंदिर परिसर में एकत्र होते हैं। रात के जैसे ही 12 बजते हैं वैसे ढोल लंगाड़े के साथ भगवान कृष्ण का हम लोग जन्मदिन मनाते हैं। रईस के मुताबिक वह और उसकी पत्नी जन्माष्ठमी के दिन व्रत रखते हैं और 12 बजे के बाद ही पानी पीते हैं। कई अन्य मुस्लिम युवक और बुजुर्ग भी व्रत रखते हैं। गांव के मोहन्मद आरिफ ने बताया कि, भगवान राधाकृष्ण से हमारी बहुत आस्था है। कहा, वह बेरोजगार था और रोजगार के लिए दिल्ली से लेकर मुम्बई गया, लेकिन वहां जॉब नहीं मिला तो सुबह सुबह भगवान राधाकृष्ण मंदिर में आकर हाजिरी लगाई और उसे रनियां में एक प्राइवेट कंपनी में नौकरी मिल गई। मंदिर के पुजारी ने बताया गांव के अलावा अन्य जगहों से सभी समुदाय के लोग राधाकृष्ण मंदिर में आकर मन्नते मांगते हैं और उनकी मनोकामना भगवान के आशीष से पूरी होती हैं।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो