कुशीनगर. पडरौना कोतवाली के सिधुआ बाजार में झोलाछाप डॉक्टर ने गुरुवार को एक महिला की जान ले ली है। महिला की मौत के बाद परिजनों ने झोलाछाप डॉक्टर के अस्पताल शव रखकर घंटों तक हंगामा किया । इसके बावजूद भी इस रसूखदार छोलाछाप डॉक्टर के खिलाफ किसी ने कार्रवाई करने की जहमत नहीं उठाई, जबकि इस मामले की जानकारी सीएमओ सहित कई वरिष्ठ अधिकारियो को दी गई थी।
बता दें कि कुशीनगर जनपद में सीएमओ कार्यालय की शह पर झोलाछाप बड़े-बड़े अस्पताल चलाए रहे हैं। ये बिना किसी डिग्री और अॉपरेशन थियेटर के खुलेआम अॉपरेशन करते रहते हैं लेकिन स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी आंख मूंदकर बैठे रहते हैं। पडरौना कोतवाली क्षेत्र के सिधुआ बाजार में स्थित श्री साईं हस्पीटल इसी तरह के एक झोलाछाप डॉक्टर द्वारा संचालित होता है जिसका शिकार सिधुआ बाजार की विद्यावती हो गई।
दरअसल हुआ यह करीब एक पखवारे पूर्व पडरौना कोतवाली के सिधुआ बाजार की रहने वाली विद्यावती के पेट दर्द शुरू हो गया। परिजनों ने सिधुआ बाजार स्थित श्री साईं हॉस्पीटल में दिखाया। यहां के झोलाछाप चिकित्सक ने विद्यावती को यूट्रस को निकलवाने की सलाह दे दी । कम पढ़े-लिखे होने के नाते विद्यावती के घर वाले झांसे में आ गए। खेत गिरवी रख इसकी फीस भर दी।
विद्यावती के परिजनों से रुपये ऐंठने के बाद करीब पन्द्रह दिन पूर्व इस झोलाछाप डॉक्टर ने विद्यावती का अॉपरेशन कर दिया । अॉपरेशन के तीन दिन बाद ही विद्यावती के पूरे शरीर में संक्रमण फैल गया। इसके बावजूद भी वह कई दिनों तक विद्यावती का इलाज चलता रहा। इसके चलते विद्यावती की तबीयत बिगड़ती चली गई।
जब स्थिति बेकाबू हो गई तो श्री साईं हास्पीटल के इस तथाकथित चिकित्सक ने इलाज के लिए गोरखपुर ले जाने की बात कह कर अपना पल्ला झाड़ लिया। गुरुवार को गोरखपुर ले जाते समय रास्ते में विद्यावती की मौत हो मृतका के परिजन शव को श्री साईं अस्पताल के सामने रखकर हंगामा करने लगे। इसके बाद यह झोलाछाप चिकित्सक हॉस्पीटल छोड़कर फरार हो गया। विद्यावती की मौत के बाद उसका परिवार उजड़ गया है। उसके तीन मासूम बच्चों का रो-रो कर बुरा हाल हो गया है.।