JNUSU का चुनाव 9 सितंबर को होना है, लेकिन इस बार चुनाव में वोट करने का अधिकार या यूं कहे कि आजादी JNU के 21 छात्रों को नहीं होगी
नई दिल्ली। जवाहरलाल नेहरु यूनिवर्सिटी (जेएनयू) में 9 सितंबर को छात्रसंघ चुनाव होने हैं, लेकिन इस बार चुनाव में वोट करने का अधिकार या यूं कहे कि आजादी जेएनयू के 21 छात्रों को नहीं होगी। ये वो छात्र जिन्हें 9 फरवरी के विवादित कार्यक्रम में जेएनयू की हाईलेवल जांच कमिटी ने दोषी पाया है। जेएनयू प्रशासन के मुताबिक दोषी छात्रों ने अभी तक जुर्माना नहीं भरा है इसलिए छात्रों के नाम वोटरों की लिस्ट में नहीं हैं। जेएनयू की अपीलीय प्राधिकरण ने भी इन छात्रों को दोषी करार देते हुए सजा बरकरार रखी है, हालांकि कुछ छात्रों का जुर्माना कम करते हुए 15 दिन के अंदर जुर्माना भरने को कहा गया है।
दरअसल छात्रसंघ चुनाव के मद्देनजर जेएनयू चुनाव की प्रक्रिया और छात्र राजनीति दोनों ही शुरु हो चुकी है। चुनाव से पहले जेएनयू चुनाव समिति वोटरों के नामों के लिस्ट निकालती है। मंगलवार को जेएनयू चुनाव समिति ने वोटरों की फाइनल लिस्ट निकाली तो उसमें कन्हैया और उमर समेत सभी दोषी छात्रों के नाम नदारद थे। खास बात यह है कि इस सूची में जेएनयू प्रबंधन द्वारा सस्पेंड किए गए रेप आरोपी अनमोल रतन का नाम भी शामिल है।
यूनिवर्सिटी प्रशासन के कदम की आलोचना
जेएनयू छात्रसंघ के जनरल सेक्रेटरी रामा नागा ने बताया कि हमारे नाम वोटर लिस्ट में नहीं थे, लिहाजा नियमों के मुताबिक हम प्रशासनिक अधिकारी के पास अपने नाम लिस्ट में जुड़वाने के लिए गए। लेकिन हमें कहा गया कि हमने जुर्माना नहीं भरा है इसलिए लिस्ट में नाम नहीं है। जबकि अपीलीय प्राधिकरण की कार्रवाई के बाद हमें 23 अगस्त को ऑफिस ऑर्डर मिले हैं, जिसके मुताबिक छात्रों को 15 दिन के अंदर जुर्माना भरना है, लेकिन अभी 15 दिन पूरे नहीं हुए हैं, ऐसे में जेएनयू प्रशासन का ये कदम छात्रों के लिए किसी उत्पीडऩ से कम नहीं है।
फोटो- एबीवीपी के छात्रनेता और जेएनयू छात्रसंघ के ज्वाइंट सेक्रेटरी सौरभ शर्मा।
ABVP के सौरभ का नाम भी लिस्ट से नदारद
एबीवीपी के छात्रनेता और जेएनयू छात्रसंघ के ज्वाइंट सेक्रेटरी सौरभ शर्मा का नाम भी वोटर लिस्ट में नहीं है। सौरभ शर्मा ने भी जेएनयू प्रशासन के इस कदम को गलत ठहराया है। जेएनयू छात्रसंघ चुनाव की मुख्य चुनाव अधिकारी इशिता माना के मुताबिक चुनाव आयोग की इस पूरे मामले में कोई भुमिका नहीं है। अगर छात्र अपना नाम लिस्ट में जुड़वाना चाहते हैं तो उन्हे अपने विभागों के प्रशासनिक अधिकारी से क्लीयरेंस लेना होगा।
जूते साफ कर जुर्माना चुकाएंगे ABVP छात्रनेता सौरभ
सौरभ का कहना है कि यह मूल अधिकारों का हनन है। समिति ने मेरे ऊपर पांच हजार रुपए का जुर्माना लगाया है, जिसे मैं विरोधस्वरूप जूते साफ कर चुकाऊंगा। मुझे वोट देने के अधिकार से वंचित किया जा रहा ह। वामपंथियों के कृत्यों की सजा प्रशासन मुझे क्यों दे रहा है। मैं इस मामले की शिकायत प्रशासन से करूंगा और मुख्य चुनाव अधिकारी को भी पत्र लिखा है।
मतदाता सूची में फिलहाल 8664 नाम शामिल
सौरभ ने मतदाता सूची के मतदाताओं के नाम पर भी सवाल खड़े किए है। उन्होंने आरोप लगाया है कि इस सूची में कुछ ऐसे मतदाता भी शामिल हैं, जोकि जेएनयू के छात्र नहीं हैं। इसलिए इस पूरे मामले की जांच होनी चाहिए। बता दें कि मतदाता सूची में फिलहाल 8664 नाम शामिल हैं।
चौथी बार एक साथ होंगे JNU और DU छात्र संघ चुनाव जेएनयू में 9 सितम्बर को छात्र संघ के चुनाव होंगे और इसी दिन दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ के चुनाव भी होंगे। यह लगातार चौथी बार एक तारीख को हो रहा है। नवनियुक्त चुनाव आयोग की आम सभा की बैठक में चुनावों की तारीख पर निर्णय किया गया। जेएनयूएसयू चुनावों की मुख्य चुनाव आयुक्त इशिता माना ने कहा कि चुनाव 9 सितम्बर को होंगे और उसी रात वोटों की गिनती होगी। अध्यक्षीय बहस 7 सितम्बर को होगी और नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 अगस्त है।