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दिल्ली के जलमंत्री बोले, शीला क्या मोदी जी की चाची लगती हैं

Published: Aug 29, 2016 09:51:00 pm

जलदाय मंत्री कपिल मिश्रा ने आरोप लगाया कि एसीबी चाहती तो उनसे सख्ती से पूछताछ कर सकती थी लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया

Sheila Dixit

Sheila Dixit

नई दिल्ली। केजरीवाल सरकार के जलदाय मंत्री कपिल मिश्रा ने दिल्ली जल बोर्ड वाटर टैंकर घोटाले मामले में पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के निवास पर पूछताछ के लिए पहुंचे भ्रष्टाचार निरोधक शाखा (एसीबी) की जांच पर तंज कसा है। उनका कहना है कि आखिरकार एसीबी शीला दीक्षित सख्ती से पूछताछ नहीं कर रही है।

कपिल मिश्रा ने एसीबी की जांच को संदेह के दायरे में खड़ा करते हुए कहा कि एसीबी के अधिकारी शीला के घर लगभग 20 मिनट तक रूके और उन्होंने पूर्व सीएम को 20 सवालों को सूची लिखकर दे दी। साथ ही कहा कि वे जब चाहे इसका जवाब दे सकती है। मिश्रा ने आरोप लगाया कि एसीबी चाहती तो उनसे सख्ती से पूछताछ कर सकती थी लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। मुझे यह समझ में नहीं आता कि एसीबी किसके दबाव में आकर ऐसा कर रही है।

दिल्ली की जलदाय मंत्री ने कहा कि मुझे हैरानी होती है कि इस मामले में वह खुद शिकायतकर्ता हैं, उन्हें एसीबी ने अपने दफ्तर में बुलाकर आधा दर्जन अधिकारियों के बीच बंद कमरे में चार घंटे तक पूछताछ की, लेकिन एसीबी के अधिकारी शीला दीक्षित को बुलाते नहीं बल्कि उनके घर जाते हैं। उन्होंने कहा कि दो दिन पहले दिल्ली विधानसभा में मैंने खुलकर कहा था कि भाजपा शीला दीक्षित को बचा रही है। एसीबी पर शीला को बचाने का दबाव है। उन्होंने कहा कि शीला दीक्षित क्या मोदी जी की चाची लगती हैं जो उनकी इस तरह मेहमान नवाजी की जा रही है।

मिश्रा ने कहा कि शीला दीक्षित के खिलाफ भ्रष्टाचार के अलग-अलग चार मामलों में एफआईआर दर्ज है, बावजूद इसके एसीबी उनसे पूछताछ करने में डर रही है। उन्होंने कहा कि उन्हें शीला दीक्षित की गिरफ्तारी से कम कुछ भी मंजूर नहीं है। गौर हो केजरीवाल सरकार ने पूर्व सीएम शीला दीक्षित के समय हुए 400 करोड़ के कथित टैंकर घोटाले की जांच रिपोर्ट विधानसभा सत्र के दौरान 13 जून को सदन में रखी थी।

उस समय दिल्ली के जल मंत्री कपिल मिश्रा ने दावा किया था कि रिपोर्ट में पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के खिलाफ पर्याप्त सबूत हैं और उनका जेल जाना तय है। उन्होंने दिल्ली विधानसभा में रिपोर्ट प्रस्तुत किए जाने की विपक्ष के नेता विजेंद्र गुप्ता की मांग पर रिपोर्ट रखते हुए चुनौती दी थी कि उन्होंने तो रिपोर्ट रख दी है, अब मोदी जी और एलजी साहब शीला दीक्षित को गिरफ्तार करा कर दिखाएं।

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