“पीछे के दरवाजे से दिल्ली सरकार चलाना चाहते हैं PM मोदी”
Published: May 22, 2015 10:07:00 pm
केजरीवाल ने पीएम मोदी पर सीधा निशाना साधते हुए कहा कि केंद्र
सरकार पिछले दरवाजे से दिल्ली में शासन करने का प्रयास कर रही है
नई दिल्ली। अरविंद केजरीवाल की सरकार पर शिकंजा कसते हुए क्रेंद ने एक अधिसूचना जारी कर स्पष्ट कर दिया कि दिल्ली में तबादले और नियुक्तियों का अधिकार केवल उपराज्यपाल के पास है। अधिसूचना के बाद केजरीवाल ने पीएम मोदी पर सीधा निशाना साधते हुए कहा कि केंद्र सरकार पिछले दरवाजे से दिल्ली में शासन करने का प्रयास कर रही है। केजरीवाल ने अधिसूचना को आजादी से पूर्व इंग्लैंड की महारानी और वायसराय के शासन से जोड़ा।
उन्होंने कहा कि आजादी से पहले जिस तरह इंग्लैंड की महारानी लंदन से वायसराय के जरिए अधिसूचना भिजवाती थी ठीक उसी तरह उपराज्यपाल वायसराय का काम कर रहे है। गृहमंत्रालय की तरफ से जारी अधिसूचना में यह साफ कर दिया गया है कि उपराज्यपाल नजीब जंग की तबादलों और नियुक्तियों में प्राथमिकता है। केजरीवाल ने अधिसूचना को मोदी सरकार के एक साल पूरा होने के मौक पर दिल्ली की जनता को उपहार करार दिया। उन्होंने कहा कि, हम अपनी कार्रवाई अधिसूचना के तहत रणनीति बनाकर करेंगे।
केजरीवाल ने अधिसूचना को भ्रष्ट लोगों को बचाने का प्रयास बताया। अधिसूचना से यह स्पष्ट हो गया है कि मोदी दिल्ली में अपने तीन विधायकों के साथ पीछे के दरवाजों से अपनी सरकार चलाने के प्रयास में है। उन्होंने कहा कि अधिसूचना का आखिरी पैरा मूल कारण है। इसमें कहा गया है कि दिल्ली सरकार का भ्रष्टाचार निरोधक विभाग केंद्र सरकार के अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर सकता है। यह कुछ नहीं है किंतु भ्रष्ट अधिकारियों को सुरक्षा देने का प्रयास है।
अधिसूचना को दिल्ली के लोगों के लिए उचित नहीं बताते हुए केजरीवाल ने कहा कि उनकी सरकार अच्छा काम कर रही है। वास्तविकता यह है कि दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार अब तक की सबसे ईमानदार सरकार है। उन्होंने आरोप लगाया कि उपराज्यपाल ने उनसे कभी भी यह नहीं पूछा की दिल्ली के लोगों को पर्याप्त मात्रा में पानी मिल रहा है या नहीं। केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली ने गृह मंत्रालय की अधिसूचना को सही ठहराते हुए कहा कि इससे भ्रम की स्थिति नहीं रहेगी।
उन्होंने कहा संविधान में उपराज्यपाल और मुख्यमंत्री के अधिकारों का साफ-साफ उल्लेख है। जेटली ने कहा कि, हम नहीं चाहते कि भ्रम की स्थिति बनी रहे और इससे दफ्तरों में ताले जड़े जायें, हम चाहते है कि चुनी हुयी सरकार काम करे। गौरतलब है कि, दिल्ली के मुख्य सचिव केके शर्मा के 10 दिन के अवकाश पर जाने के दौरान ऊर्जा सचिव शकुन्तला गैमलिन को मुख्य कार्यकारी सचिव नियुक्त करने को लेकर उपराज्यपाल नजीब जंग और मुख्यमंत्री केजरीवाल के बीच पिछले एक सप्ताह से जंग छिडी हुई है। यह मामला राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी के दरवाजे तक पहुंचा।