10 साल पुराने प्रोजेक्टों को भी स्मार्ट सिटी में मिली जगह
इन प्रोजेक्टों की डीपीआर बनाने में ही निगम और आरडीए लगभग 50 लाख रुपए खर्च कर चुका है।
रायपुर . नगर-निगम ने वर्षों पहले शहर के विभिन्न इलाकों में महानगरों की तर्ज पर शॉपिंग काम्प्लेक्स और मल्टीलेवल पार्र्किंग बनाने के लिए प्रस्ताव बनाया था, लेकिन आज तक उसकी एक नींव भी नहीं रखी गई। अब निगम प्रशासन ने फिर से इन्हीं प्रस्तावों को स्मार्ट सिटी में शामिल कर पांच साल में पूरा करने का ख्वाब शहर की जनता को दिखाया है। कुछ प्रस्ताव तो राजनीतिक विवाद में फंस कर उलझ गए। इन प्रोजेक्टों की डीपीआर बनाने में ही निगम और आरडीए लगभग 50 लाख रुपए खर्च कर चुका है।
777 एकड़ में स्मार्ट सिटी का प्रोजेक्ट
नगर निगम ने करीब 777 एकड़ क्षेत्र में स्मार्ट सिटी विकसित करने का प्लान बनाया है। इसका कुल बजट 39000 करोड़ रुपए रखा गया है। इसमें एरिया बेस्ड और पैन सिटी शामिल हैं। इधर, स्मार्ट सिटी की घोषणा हुए छह माह से अधिक हो गए। शासन ने एसपीवी का गठन तो कर दिया, लेकिन एक्जीक्यूटिव बॉडी का गठन अभी तक नहीं किया गया और न ही स्मार्ट सिटी में शामिल किए गए प्रस्तावों का डीपीआर तैयार करने के लिए कंसल्टेंट के लिए निविदा निकाली गई।
नगर निगम आयुक्त रजत बंसल ने बताया कि स्मार्ट सिटी में जो भी पुराने प्रोजेक्ट शामिल किए गए हैं, उन सभी की आरएफपी काफी-सोच समझकर बनाई गई है। जिस प्रोजेक्ट पर राजनीति आड़े आएगी, उसका भी निराकरण निकाला जाएगा।