सिद्धार्थनगर. लगातार हो रही बारिश से चारों तरफ पानी ही पानी दिख रहा है। खेत व अन्य जगहों पर एकत्र पानी तालाब का रूप धारण कर चुके हैं। वहीं नेपाल की पहाड़ियों का पानी राप्ती नदी में आने से जलस्तर लगातार बढ़ता दिखाई दे रहा है। डुमरियागंज कस्बे के पश्चिम नौखान व नदी के बीच बसे बड़हरा गांव की स्थिति बिगड़ती जा रही है। बढ़ते जलस्तर से कटान होना शुरू हो गई है। कटान से रिसाव का पानी गांव में घुसने से ग्रामीणों में दहशत व्याप्त है। प्रशासन चुप्पी साधे हुए है। ध्यान नहीं दिया गया तो बांध टूटने पर पूरा गांव पानी में डूब जाएगा।
राप्ती नदी से कटान
राप्ती नदी से कटान
बुधवार को गांव की पे्रमादेवी, भानमती, मंजू देवी, कुसुम, लता, शांति देवी, कमला, प्रभावती, चंद्रकला, मीना, अनिल कुमार, संदीप, अवधू, रमेश, राम शरण आदि ने बताया कि जब बाढ़ आती है तो गांव में पानी घुस जाता है। साहब लोग आते हैं और यह कहकर चले जाते हैं कि अब बांध मजबूत बनेगा ताकि टूटने न पाए। पूरा साल गुजर जाता है कोई घूम कर नहीं आता है। इस परेशानी से हम लोगों को कौन निजात दिलाएगा यह मालूम नहीं। ग्रामीणों ने कहा कि बाढ़ से फसल बरबाद हो जाती है। खाने के लाले पड़ जाते हैं। लोगों ने जिम्मेदारों से बांध की कटाने रोकने व उसे मजबूत बनाए जाने की मांग की है।
राप्ती नदी से कटान
बता दें कि तकरीबन हर साल बारिश के दिनों में नेपाल की ओर से आने वाले बाढ़ के पानी से सीमावर्ती इलाकों में बाढ़ का खतरा बना रहता है। इसके चलते इलाके में बाढ़ की समस्या बदस्तूर जारी है। बाढ़ के पानी से कटान विकट स्थिति में पहुंच चुका है। इसको लेकर शासन-प्रशासन से इलाके के लोग कटान रोकने की पक्की व्यवस्था की लगातार मांग कर रहे हैं।
राप्ती नदी से कटान