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एक तो ठग, दूसरा महा ठग, धोखाधड़ी में चीन पाक से भी आगे….

Published: Jul 20, 2017 05:40:00 pm

Submitted by:

ghanendra singh

ताजा मामला भारत सरकार के काम और उसकी छवि को लेकर फैलाइ जा रही खबर है। जिसमें चीन के अखबार ने सरकार के हिंदू राष्ट्रवाद की छवि को हुए युद्ध का कारण बताया है।

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नई दिल्ली। धोखाधड़ी में चीन ने पाकिस्तान को भी पछाड़ दिया है। आए दिन फर्जी खबरें और वीडियो जारी कर वह भारत को अपनी ताकत दिखाना चाहता है। कभी देश की विपक्षी पार्टी को अपना करीबी बताकर तो सैनिकों के मौत की फर्जी खबर फैलाकर। तो कभी सीमा पर सैनिकों की वीडियो रिकॉर्डिंग करके। ताजा मामला भारत सरकार के काम और उसकी छवि को लेकर फैलाइ जा रही खबर है। जिसमें चीन के अखबार ने सरकार के हिंदू राष्ट्रवाद की छवि को हुए युद्ध का कारण बताया है।


हिन्दू राष्ट्रवाद से चीन-भारत में युद्ध का खतरा
भारत-चीन विवाद के बीच चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने अपने संपादकीय में कहा है कि हिंदू राष्ट्रवाद ने पीएम मोदी की चीन नीति को प्रभावित किया है। इस वजह से आने वाले दिनों में दोनों देश में युद्ध की स्थिति पैदा हो सकती है। आगे लिखा है कि भारत लगातार सीमा पर उकसावे का काम कर रहा है और दूसरी ओर भारत हिंदू राष्ट्रवाद की आड़ में विरोधी भावनाओं को बढ़ावा दे रही है। चीनी मीडिया के मुताबिक पीएम मोदी की नीति मुसलमानों को टार्गेट करना इसका अहम हिस्सा है। ग्लोबल टाइम्स ने लिखा है कि चीन और भारत में प्रतिस्पर्द्धा और विवेक पर निर्भर करती है। भारत राष्ट्रीय ताकत के मामले में चीन से कमजोर है 


सीमा पर युद्धाभ्यास पुराना वीडियो जारी करना
चीनी सैनिकों ने कुछ दिनों पहले 5,100 मीटर की ऊंचाई पर तिब्बत सीमा पर युद्धाभ्यास किया था। चीनी मीडिया की वीडियो रिपोर्ट के मुताबिक यहां पीपुल लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के सैनिकों को बंकर और होवित्जर उड़ाने के लिए टैंक रोधी ग्रेनेड और मिसाइलों को इस्तेमाल करते दिखाया गया। वीडियो में रडार इकाइयों को दुश्मनों के विमान के पहचार उसे नस्तेनाबूद तकने के लिए विमान रोधी तोपों का इस्तेमाल भी दिखाया गया था। लेकिन बाद में खुलासा हुआ ये वीडियो करीब दो महीने पुराना है।


भारत की राजनीतिक में हस्ताक्षेप की कोशिश
कुछ समय पहले कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की चीनी राजदूत से मुलाकात को भी चीन ने भुनाने की कोशिश की थी। मुलाकात के बाद चीन ने राहुल गांधी और राजदूत लू झाओहुई की एक तस्वीर अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर जारी की। खबर भरतीय मीडिया में चलने के बाद तुरंत इस पोस्ट को हटा दिया गया। इससे कयास लगाए जा रहे थे कि चीन इस मुलाकात को छिपाना चाहता था या गलती से ये जानकारी पोस्ट हो गई। इस हरकत से चीन भारत की मुख्य विपक्षी पार्टी को खुद का करीबी बताने की कोशिश में जुटा था।


डोकलाम पर कैमरे के साथ दिखे चीनी सैनिक
पिछले महीने ने सीमा विवाद को लेकर चीन ने सिक्किम के रास्ते भारत में घुसपैठ की कोशिश की। इस दौरान पीपुल लिबरेशन आर्मी ने भारतीय सेना के जवानों से धक्कामुक्की भी की। इस दौरान चीन के कई जवान वीडियो कैमरे में इस घटना को रिकॉर्ड भी कर रहे थे। इससे शुरु हुआ ये संघर्ष एक महीने बाद भी जारी है।जिसके बाद भारतीय सेना ने सीमा पर तंबू लगा लिया। इसे लेकर चीन लगातार भारत को धमकी दे रहा है और शर्मिंदा करने की बात कह रहा है लेकिन भारत ने मौके से हटने से इनकार कर दिया है।
158 सैनिकों के मौत की झूठी खबर फैलाना
पिछले दिनों चीनी मीडिया ने दावा किया था कि सीमा पर विवाद के दौरान चीनी सैनिकों ने 158 भारतीय सैनिकों को मार गिराया है। चीन ने दावा किया कि उसने भारत पर रॉकेट से हमला भी किया। ये फर्जी खबर चीनी सेना द्वारा तिब्बत सीमा पर नए युद्धाभ्यास के बाद फैलाए गए। इसके बाद ये खबरें पाकिस्तानी मीडिया की सुर्खियां बन गईं। बाद में भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि ऐसी रिपोर्ट पूरी तरह निराधार है। ऐसी खबरों पर संज्ञान नहीं लिया जाना चाहिए।

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