scriptदिवाली से पहले करें ये उपाय बेहद प्रसन्न होगी मां लक्ष्मी, कभी नहीं होगी धन की कमी | ravi pushya nakshatra pujan on diwali never lack of funds in your house | Patrika News

दिवाली से पहले करें ये उपाय बेहद प्रसन्न होगी मां लक्ष्मी, कभी नहीं होगी धन की कमी

Published: Oct 24, 2016 01:33:00 pm

यदि आप भी खरीददारी की तैयारी कर रहे है तो दिवाली से पहले आने वाला पुष्य नक्षत्र को करे….

pushya nakshatra

pushya nakshatra

दशहरे के बाद दिवाली की तैयारी शुरू हो जाती हैं। दिवाली पर मां लक्ष्मी को खुश करने के लिए लोग हर तरह से जुट जाते हैं। घर में सफाई से लेकर खरीददारी तक हर चीज में मां लक्ष्मी का ध्यान रखा जाता है। यदि आप भी खरीददारी की तैयारी कर रहे है तो दिवाली से पहले आने वाला पुष्य नक्षत्र को करे।

ये भी पढ़ेः दीवाली पर मां लक्ष्मी की पूजा ऐसे करें, ये हैं पूजा के शुभ मुहूर्त

ये भी पढ़ेः मिनी धनतेरस 23 को, ग्रह-नक्षत्रों का होगा शुभ संयोग, घर आएगी लक्ष्मी


अगर यह नक्षत्र सोमवार, गुरुवार और रविवार को आता है तो यह नक्षत्र ज्यादा फलदायी होता है। इस साल कार्तिक अमावस्या से पहले पुष्य नक्षत्र दो दिन का पड़ रहा है। इस दिन आपकों अपने आराध्य देव और कुलेदवता की पूजा करनी चाहिए। इस पूजा से मां लक्ष्मी बेहद प्रसन्न होती है और आपके घर में धनवर्षा होती है।

ये भी पढ़ेः दीवाली पर इन उपायों को करने से प्राप्त होगी अखंड लक्ष्मी, घर में होगा मां का वास

ये भी पढ़ेः दीपावली की रात को किए जाते हैं ये 11 अचूक टोने-टोटके


पुष्य नक्षत्र के दिन नए बही-खातों और लिखापठी की चीजों को शुभ मुहूर्त में खरीद कर उन्हें व्यापारिक प्रतिष्ठान में स्थापित करना चाहिए। साथ ही सोना-चांदी, बहुमूल्य रत्न, ज्वैलरी आदि भी खरीदना शुभ होता है।

पुष्य नक्षत्र पर खरीदारी का शुभ मुहुर्त
सुबह 9 से 10.30 
सुबह 10. 31 से 12 बजे और शाम 7:30 से 9:01 तक 
दोपहर 1:30 से 3 बजे और 8 से 7:30 बजे तक
घर में नहीं होगी पैसों की कमी
रविपुष्य नक्षत्र पर एकाक्षी नारियल का पूजन करने से घर में कभी भी पैसों की कमी नहीं रहती है। इस नारियल में ऊपर की ओर एक आंख का के जैसे निशान होता है इसलिए इसे एकाक्षी नारियल कहा जाता है। इसे साक्षात देवी मां लक्ष्मी का स्वरूप माना गया है। अगर रवि पुष्य नक्षत्र के दिन एकाक्षी नारियल की विधि-विधान से पूजा की जाए तो घर में धन और वैभव बना रहता है।

ये भी पढ़ेः ऐसे पाएं पितृ दोष से मुक्ति, खुल जाएंगे सौभाग्य के द्वार

ये भी पढ़ेः रात को भूल कर भी न करें ये गलतियां, सब चौपट हो जाएगा

पूजन और स्थापना का विधि-विधान
नहाने के बाद सफेद वस्त्र पहने। इसके बाद रविपुष्य नक्षत्र के दिन शुभ मुर्हूत में थाली में चंदन या कुंकुम से अष्ट दल बनाकर उस पर इस नारियल को रख दें और अगरबत्ती व दीपक लगा दें।

अब नारियल को गंगा जल से शुद्ध करके फूल, चावल, फल और प्रसाद चढ़ाएं। साथ ही नारियल को लाल रंग की चुन्नी भी चढ़ाएं।

इसके बाद एकाक्षी नारियल को रेशमी कपड़े से लपेट दें और उससे पहले केसर से यह मंत्र लिखें-
ऊॅं श्रीं ह्रीं क्लीं ऐं महालक्ष्मीं स्वरूपाय एकाक्षिनालिकेराय नम: सर्वसिद्धि कुरु कुरु स्वाहा।

ऊॅं ऐं ह्रीं श्रीं एकाक्षिनालिकेराय नम: मंत्र पढ़ते हुए उस पर 108 गुलाब की पंखुडियां चढ़ाएं। हर पखुंड़ी चढ़ाते समय इस मंत्र का उच्चारण करते रहें।

अगले दिन से दिवाली तक रोज 21 गुलाब से पूजा करें और उस रेशमी वस्त्र में लिपटे हुए नारियल को पूजा स्थान पर रख दें। इस प्रकार एकाक्षी नारियल को स्थापित करने से घर में सदा धन-वैभव बना रहता है।

राशियों पर प्रभाव
मेष- आर्थिक क्षेत्र से संबंधित लाभ के योग बन रहे।
वृषभ- नवीन वस्तुओं की खरीदारी से लाभ होगा।
मिथुन- संपत्तिगत, कॅरियर, व्यापार एवं सर्विस से संबंधित लाभ होगा।
कर्क- भाग्यजनित सफलता एवं पराक्रम में वृद्धि के योग है।
सिंह- आर्थिक क्षेत्र में प्रगति एवं धन लाभ होगा।
कन्या- विवाह, प्रेम एवं दाम्पत्य जीवन से संबंधित सुखों की प्राप्ति होगी।
तुला- शत्रुओं पर विजय प्राप्त होगा। पुरानी समस्याओं का समाधान होगा।
वृश्चिक- शिक्षा, व्यापार, कॅरियर व संतान पक्ष विषयक लाभ के योग।
धनु- नए शुभ समाचार की प्राप्ति के योग।
मकर- पुरानी समस्याओं का अंत होगा व नए कार्य की शुरुआत होगी।
कुंभ- आर्थिक क्षेत्र, कॅरियर एवं सर्विस में लाभकारी परिवर्तन के योग।
मीन- अविवाहित जातकों को विवाह से संबंधित लाभ होगा एवं विवाहित जातकों के वैवाहिक जीवन में मधुरता आएगी।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो