95 छात्राएं निवासरत हैं
कस्तूरबा गांधी बालिका छात्रावास में कक्षा 9 वीं से 12वीं तक अध्ययन करने वाली 95 छात्राएं निवासरत हैं। विभिन्न गांवों से आगर पढऩे के लिए छात्राएं इस छात्रावास में निवास कर अध्ययन करती हैं। छात्रावास में शनिवार रात को काजल, हर्षिता, नेहा शर्मा, हर्षिता बैरागी, रविना सिंह, डिम्पल सहित कई छात्राओं को उल्टी होने लगी। धीरे-धीरे रात १ बजे तक उल्टी दस्त से २० छात्राएं पीडि़त हो गईं। एक के बाद एक को जिला अस्पताल उपचार के लिए ले जाया गया। वहां ड्यूटी डॉक्टर से उपचार कराने के बाद वापस छात्रावास ले आए लेकिन छात्राओं की स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ तो वापस रात करीब ढाई बजे सभी छात्राओं को वापस जिला अस्पताल ले जाया गया।
अस्पताल में भर्ती किया
ड्यूटी डॉक्टर केके सागरिया द्वारा सभी को ड्रिप लगाकर अन्य दवाइयां देते हुए अस्पताल में भर्ती किया गया। तब उनकी स्थिति में सुधार आया। सुबह जब डॉक्टर वार्ड में छात्राओ को देखने के लिए पहुंचे तो वहां कोई मौजूद नहीं था। ड्यूटी डॉक्टर से बिना अनुमति के ही सभी छात्राएं रजिस्टर पर अपनी मर्जी से आने का लिखते हुए छात्रावास आ गईं। इस बीच छात्रावास अधीक्षक आरती अग्रवाल भी उल्टी दस्त की शिकार हो गई। छात्रावास अधीक्षक ने घटनाक्रम को वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया और पीडि़त छात्राओं के परिजनो को फोन से सूचना देकर छात्रावास बुुलाकर छात्राओं को उनके सुपूर्द कर दिया। फिलहाल सभी छात्राएं स्वस्थ हैं।
आरओ खराब, टैंकर से डलता है पानी
छात्रावास में निवासरत छात्राओं को स्वच्छ पानी मुहैया कराने के लिए आरओ लगा रखा है। इसके माध्यम से उन्हें फिल्टर पानी मिलता है, लेकिन कुछ दिनों से यह आरओ तकनीकि कारणों के चलते खराब हो गया। जिसे शनिवार को सुधारा गया। लिहाजा यहां टैंकर से पानी मंगाया जाता है।
3 माह पहले पाइपलाइन फूटी,आज तक नहीं सुधरी
छात्राओं एवं अधीक्षक ने बताया कि छात्रावास में नगर पालिका की पेयजल पाइप लाइन आती है लेकिन बस स्टैंड के पास चल रहे निर्माण कार्य के दौरान पाइप लाइन को क्षतिग्रस्त कर दिया गया। पिछले ३ माह से छात्रावास में नल से पानी नहीं आ रहा है। बाहर से टैंकर बुलाए जाते हैं। आशंका है कि टैंकर का पानी खराब होगा, उसके कारण ही इस तरह की स्थिति निर्मित हुई होगी।
सूचना मिलने पर हमने छात्रावास का निरीक्षण किया। आशंका है कि दूषित पानी की वजह से ही इस तरह की स्थिति निर्मित हुई है। सभी पीडि़त छात्राओं के परिजनों से हमने चर्चा की है। सभी अब स्वस्थ हैं। अधीक्षक को व्यवस्था सुधार के निर्देश दिए गए हैं। ओपी तोमर, प्रभारी डीईओ आगर
रात करीब ढाई बजे बालिका छात्रावास की उल्टी दस्त से पीडि़त 20 छात्राओं को जिला अस्पताल लाया गया था। दूषित पानी के सेवन के कारण इस तरह की स्थित निर्मित हुई है। जहां ड्यूटी डॉक्टर द्वारा उपचार किया गया है। सभी छात्राएं ड्यूटी डॉक्टर को बिना सूचना दिए ही अस्पताल से चली गई थीं। सभी स्वस्थ बताई जा रही हैं।
– डॉ. जेसी परमार, सीएस जिला अस्पताल आगर