अगार मालवाPublished: Apr 03, 2018 12:49:32 am
Lalit Saxena
अजा-जजा एकता मंच के सोमवार को भारत बंद के तहत आगर बंद के लिए सुबह १० बजे से ही आंदोलनकारियों का हुजूम निकल पड़ा।
अजा-जजा एकता मंच के सोमवार को भारत बंद के तहत आगर बंद के लिए सुबह १० बजे से ही आंदोलनकारियों का हुजूम निकल पड़ा।
आगर-मालवा. अजा-जजा एकता मंच के सोमवार को भारत बंद के तहत आगर बंद के लिए सुबह १० बजे से ही आंदोलनकारियों का हुजूम निकल पड़ा। पहले चरण में कुछ नहीं हुआ, लेकिन ११ बजे बाद दोबारा ये लोग बंद के लिए निकले तो छावनी नाके से ही छिटपुट झड़प शुरू हो गई। विधायक गोपाल परमार की मौजूदगी में आंदोलनकारियों की जकमर मनमर्जी चली और इनकी इसके आगे पुलिस प्रशासन भी बेबस दिखाई दिया। जो व्यापारी दुकान खोलकर बैठे थे दुकान जबरन बंद कराते रहे। कई स्थानों पर खुलेआम अभद्रता की गई। जनप्रतिनिधियों की मौजूदगी के कारण पुलिसकर्मी बड़ी मुश्किल से स्थिति को नियंत्रित करते हुए नजर आए। शहर में २ घंटे तक खासी गहमा-गहमी रही।
सर्वोच्च न्यायालय ने अजा-जजा अत्याचार निवारण अधिनियम के संबंध में दिए निर्णय का विरोध कर रहे अजा-जजा वर्ग के सैकड़ों समाजजन सोमवार सुबह ९ बजे गांधी उपवन पर एकत्रित हुए और रणनीति तैयार कर शहर बंद के लिए निकल पड़े। छावनी नाके से होते हुए आंदोलनकारी शहर के प्रमुख मार्गों सराफा बाजार, हाटपुरा, अस्पताल चौराहा, तहसील चौराहा, बस स्टैंड पहुंचे।
यहां से वापस छावनी आए और राष्ट्रपति के नाम संबोधित ज्ञापन एसडीएम महेंद्रसिंह को सौंपा। अधिनियम को पूर्व की भांति पुन: लागू करने की मांग की गई। विधायक सहित सिद्धनाथसिंह, राजकुमार गौरे, इंदूबाला बिलरवान, रानूराज नरवाल, गौरीशकंर सूर्यवंशी सहित समाजजन मौजूद थे।
कुछ ही देर में खुल गया बाजार
आंदोलनकारियों का हुजूम जिस क्षेत्र से होकर आगे बढ़ता गया। पीछे-पीछे बाजार भी खुलता गया। बंद का असर तो शहर में आंशिक दिखाई दिया, लेकिन गहमा-गहमी दिनभर चलती रही। छावनी नाके पर स्थित शेविंग दुकान पर शुरुआती दौर में ही विवाद हो गया। पुलिसबल की संख्या कम थी। जैसे-तैसे पुलिसकर्मियों ने भीड़ को तितर-बितर किया। इसके बाद सराफा में एक आभूषण की दुकान पर नोकझोंक हुई। यहां भी स्थिति पर जैसे-तैसे नियंत्रण में आई। आंदोलनकारी पुराने बस स्टैंड पहुंचे जहां कॉम्प्लेक्स में स्थित दुकानदारों से झड़प हुई। काफी विवाद के बाद दुकानदारों ने दुकानें बंद की। तहसील चौराहे पर कोठारी फोटोकॉपी पर भी विवाद की स्थिति निर्मित हो गई। उसके बाद एक इलेक्ट्रॉनिक की दुकान पर संचालक व विधायक के बीच तीखी नोकझोंक हुई। बस स्टैंड पर इसी प्रकार की स्थिति निर्मित होती रही। वापसी में छावनी नाके पर आए तोला कॉम्प्लेक्स में स्थित जनरल स्टोर्स संचालक धर्मेंद्र दुबे परिवार के साथ दुकान पर बैठे थे उस समय विधायक के साथ आए आंदोलनकारियों ने जबरन दुकान बंद कराने की कोशिश की तो दुबे एवं विधायक के बीच काफी देर तक विवाद होता रहा। एएसपी प्रदीप पटेल ने स्थिति को नियंत्रित किया।