जब मंच से की ऊंटवाल ने अपशब्दों की बरसात
मंच पर पहुंचते ही माइक थामकर विधायक मनोहर ऊंटवाल ने अपशब्दों की बरसात शुरू कर दी। उन्होंने कहा कि प्रभारी मंत्री मुझसे हारे हुए इंदौरी नेता विपिन वानखेड़े को यहां का विधायक कहते हैं, आखिर किधर से विधायक हैं वे। हारने के बावजूद हर कार्यक्रम में मंच पर बैठते हैं। मुझे ऊंट बोलते हैं, ऊंट ने जब लात मारी तो ये सीधा इंदौर पहुंच गए।
विधायक ने बाबूलाल यादव के लिए ये कहा
विधायक ने कांग्रेस जिला अध्यक्ष बाबूलाल यादव को लेकर भी अमर्यादित भाषा का उपयोग किया। उन्होंने कहा कि इस बेशर्म को समाज ने किसी लायक नहीं समझा। फिर भी सभी कार्यक्रमों में मंच पर लगी कुर्सी पर बैठते हैं। उन्होंने शासकीय अधिकारियों को भी खुले मंच से चेतावनी देते हुए कहा कि अभी मैं सब कुछ सहन कर रहा हूं, मैं भी पढ़ा-लिखा हूं, सुधर जाओ नहीं तो बाद में तकलीफ होगी।
विधायक ने सीएम कमलनाथ सरकार को लेकर ये कहा
विधायक यहीं नहीं रुके, उन्होंने सीएम कमलनाथ को लेकर कहा कि यह सरकार कुछ नहीं कर रही है, केवल यहां पर अधिकारियों के ट्रांसफर किए जा रहे हैं, लेकिन यहां भी अजीब स्थिति है, सुबह ट्रांसफर होता है और शाम को कैंसिल हो जाता है। इनके नेता ट्रांसफर रुकवाने के लिए उनके घर पहुंच जाते हैं, ट्रांसफर होने वाले कर्मचारियों की पीड़ा भी है कि यहां सौ-सौ दाई हैं, वे समझ नहीं पाता किस-किस को पैसा दें। पहले कांग्रेस जिला अध्यक्ष बाबूलाल यादव को दें या फिर एक और हारे हुए विधायक विपिन वानखेड़े को दें, ऊंटवाल ने और भी कई बातें कांग्रेस नेताओं को लेकर कहीं।
जिला कांग्रेस अध्यक्ष बोले…विधायक ने खोया मानसिक संतुलन
विधायक ऊंटवाल द्वारा की गई टिप्पणी की जानकारी जैसे ही कांग्रेसियों को लगी, तो कुछ ही देर में जिला कांग्रेस अध्यक्ष बाबूलाल यादव की तीखी प्रतिक्रिया भी सामने आ गई। जिला कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि मनोहर ऊंटवाल सांसद पद छोड़कर मंत्री बनने की चाहत लेकर विधायक बन गए, लेकिन मंत्री नहीं बन पाए। इनके द्वारा 15 वर्ष तक जमकर मलाई खाई गई और वह अब बंद हो गई है, जिसके सदमे में ऊंटवाल अपना मानसिक संतुलन दिन-प्रतिदिन खोते जा रहे हैं। मैं शासन को पत्र लिखकर आग्रह करूंगा कि मनोहर ऊंटवाल का प्रदेश के सबसे बेहतर मनो चिकित्सालय में उपचार कराया जाए, जिससे उनके स्वास्थ्य में शीघ्र सुधार हो सके।