सीख
इस लघु कथा का सार यह है कि आपकी नियति या आपका भाग्य आपकी भावनाओं पर ही निर्भर करता है। आप जैसी भावनाएं रखते हैं, वैसे ही बनते जाते हैं। इसलिए आप जैसा बनना चाहते हैं, वैसी ही भावनाएं रखिये।
इस लघु कथा का सार यह है कि आपकी नियति या आपका भाग्य आपकी भावनाओं पर ही निर्भर करता है। आप जैसी भावनाएं रखते हैं, वैसे ही बनते जाते हैं। इसलिए आप जैसा बनना चाहते हैं, वैसी ही भावनाएं रखिये।
प्रस्तुतिः डॉ. आरके दीक्षित, प्राध्यापक, केए कॉलेज, कासगंज