उद्योगों को पानी दिया जा सकता है, तो सिंचाई के लिए क्यों नहीं?: गुजरात हाईकोर्ट
अहमदाबादPublished: May 04, 2019 12:20:18 am
-भावनगर के 16 गांवों के किसानों को सिंचाई का पानी नहीं दिए जाने पर याचिका
उद्योगों को पानी दिया जा सकता है, तो सिंचाई के लिए क्यों नहीं?: गुजरात हाईकोर्ट
अहमदाबाद. भावनगर जिले के 16 गांवों के किसानों को सिंचाई का पानी नहीं दिए जाने को लेकर गुजरात उच्च न्यायालय में जनहित याचिका दायर की गई है।
उच्च न्यायालय ने इस याचिका पर सुनवाई के दौरान मौखिक टिप्पणी करते हुए कहा कि उद्योगों को पानी दिया जा सकता है तो सिंचाई के लिए क्यों नहीं? इस संबंध में न्यायालय ने राज्य सरकार को जवाब पेश करने को कहा। मामले की अगली सुनवाई ग्रीष्म अवकाश के बाद होगी।
भावनगर के नवा, जीवापुर, वाघेला, धांधोल सहित करीब 16 गांवों के किसानों ने वकील जीतू पंड्या के मार्फत दायर याचिका में यह दलील दी कि नर्मदा योजना के तहत इन गांवों का समावेश किया गया है। हालांकि सिंचाई के लिए इन गांवों को पानी नहीं दिया जाता। गांव के करीब ढाई हजार किसानों को पानी दिया जाना चाहिए। गांव की ओर आने वाली नहर में तीन दीवारों के कारण पानी नहीं पहुंचता है। 118 किलोमीटर की इस नहर के मार्फत 2400 ग्रामीण जनों को पीने का पानी और वल्लभीपुर के 250 से 300 उद्योगों को पानी दिया जाता है, लेकिन सिंचाई के लिए पानी नहीं दिया जाता।
याचिका में यह दावा किया गया कि राज्य सरकार की नीति उद्योग परक के बजाय खेती विरोधी है।