Ahmedabad News, jamnagar news : जान को जोखिम में डालकर ड्यूटी कर रहे स्वास्थ्य कर्मचारी
अहमदाबादPublished: Apr 06, 2020 01:04:27 am
जामनगर में लोगों का जीवन बचाने के लिए…
Ahmedabad News, jamnagar news : जान को जोखिम में डालकर ड्यूटी कर रहे स्वास्थ्य कर्मचारी
जामनगर. कोरोना महामारी व कोरोना वायरस के संक्रमण से लोगों का जीवन बचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी अपनी जान को जोखिम में डालकर ड्यूटी कर रहे हैं।
स्वास्थ्य विभाग की ओर से जिले के गांवों व शहर के प्रत्येक मकान में रहने वाले परिवारों के सदस्यों की पहले चरण में जांच की जा चुकी है। शत-प्रतिशत सर्वेलन्स के चलते अब तक कोरोना पॉजिटिव मामला सामने नहीं आया है। अब दूसरे चरण में कोरोना महामारी से बचाव के लिए जागृति के कार्य किए जा रहे हैं।
जिले में वसई के चिकित्सा अधिकारी डॉ. अजय वकातर के अनुसार 32 आशा वर्कर, 12 एफएचएसडब्ल्यू, 5 एमपीएचडब्ल्यू वसई केन्द्र के अधीन प्रत्येक गांव में सर्वे कर चुके हैं और लोगों को कोरोना वायरस की बीमारी के बारे में जागृत भी किया है। वे स्वयं नियमित तौर पर करीब 200 रोगियों की जांच करते हैं, इनमें 25-30 सर्दी, बुखार से पीडि़त होते हैं। उनको आवश्यक मार्गदर्शन देने के अलावा शंकास्पद रोगियों के बारे में जिले के जी.जी. अस्पताल के स्टाफ के साथ समन्वय भी करते हैं। वसई के ही मल्टीपर्पज हैल्थ सुपरवाइजर राजन मुंगरा के अनुसार 121 लोगों को क्वारेन्टाइन में रखा है, इनमें से 50 लोग अन्य राज्यों से और शेष लोग अन्य जिलों से आए हैं। नियमित तौर पर 300-400 ट्रक चालकों की स्क्रीनिंग फील्ड स्टाफ की ओर से की जा रही है।
इसी प्रकार लाखाबावल में डॉ. भूमि ठुंमर के निर्देशन में संपूर्ण क्षेत्र में 23 टीमें सर्वे कार्य में जुटी हैं। फिलहाल दूसरे चरण में 70 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है। क्षेत्र में विदेश से 16 व अन्य राज्यों से 27 लोग आए, सभी को क्वारेन्टाइन में रखा है। छह लोगों को 14 दिन की अवधि पूरी होने पर मुक्त किया गया है। लाखाबावल के एफएचएसडब्ल्यू नम्रता वसाणी व एमपीएचडब्ल्यू जिग्नेश परमार के अनुसार शुरुआत में कोरोना वायरस के बारे में जागृति नहीं होने के कारण कुछ लोग हंसी उड़ाते थे लेकिन निष्ठा से कार्य करने व वायरस के बारे में जानकारी देने के कारण अब तो कुछ लोग छोटी-बड़ी बीमारी के बारे में भी मार्गदर्शन लेते हैं।
जामनगर के समरस हॉस्टल में मुख्य क्वारेन्टाइन फेसिलिटी सेन्टर संचालित किया जा रहा है। यहां क्वारेन्टाइन में रह रहे लोगों की देखभाल में डॉ. तरुण परमार जुटे हैं। यहां शंकास्पद गंभीर लोगों को रखा है। उनके अनुसार दिन में तीन बार ऐसे लोगों की स्वास्थ्य जांच करते हैं। किसी प्रकार के लक्षण दिखाई देने पर जी.जी. अस्पताल के साथ समन्वय कर कार्रवाई करते हैं।