वैश्विक मजदूर एकता को मजबूत पर मंथन
अहमदाबादPublished: Feb 04, 2019 10:35:11 pm
अमरीकन फेडेरशन व वेस्टर्न एम्प्लॉयज रेलवे यूनियन की बैठक में
वैश्विक मजदूर एकता को मजबूत पर मंथन
अहमदाबाद. अमरीकी श्रमिक संगठन द अमरीकन फेडरेशन ऑफ लेबर एंड कांग्रेस ऑफ इंडस्ट्रीयल ऑर्गेनाइजेशन (एएफएल-सीआईओ) का प्रतिनिधि मंडल की अहमदाबाद स्थित वेस्टर्न रेलवे एम्प्लॉयज यूनियन ऑफिस में बैठक हुई, जिसमें इस प्रतिनिधि मंडल ने यूनियन के नेताओं से वैश्विक मजदूर एकता को मजबूत बनाने पर चर्चा की।
बैठक में यूनियन के जोनल अध्यक्ष आर.सी. शर्मा, अहमदाबाद मंडल सचिव एच. एस. पाल, अध्यक्ष दिनेश पंचाल, हरिराम मीणा, घनश्याम यादव, पारुल राजवी तथा संजय सूर्यबली सहित मंडल पदाधिकारी उपस्थित थे। अमरीकी संगठन से विश्व के करीब 55 देशों की श्रमिक यूनियन जुडे हैं। प्रतिनिधि मंडल में यूएसए से टिमोथी जे रयान तथा श्रीलंका से अलोंजो सुसन शामिल थे। बैठक में रेलवे के वर्तमान हालात, राष्ट्रीय तथा अंतरराष्ट्रीय ट्रेड यूनियन पर विचार विमर्श हुआ। साथ ही भारत तथा एशिया पैसिफि़क क्षेत्र के राजनीतिक परिदृश्य में वैश्विक मजदूर एकता को मजबूत करने पर भी विमर्श हुआ। प्रतिनिधि मंडल यूनियन के इतिहास, संघर्ष, कार्यशैली तथा उपलब्धियों से काफी प्रभावित नजर आया। रेलवे कर्मचारियों के लिए चाइल्ड केअर लीव जैसी यूनियन की उपलब्धि से वे काफी प्रभावित क्यों कि विश्व के अन्य किसी भी देश में उपलब्ध नहीं है।
ज़ोनल अध्यक्ष आर. सी. शर्मा ने कहा कि वर्तमान में लेबर मूवमेंट के सामने निजीकरण सबसे बड़ी चुनौती है। भारतीय रेलवे में भी हम निजीकरण के विरुद्ध संघर्षरत है। विश्व के सबसे सस्ते लोकोमोटिव भारत मे बनाते हैं। इसके बावजूद भी जनरल मोटर्स को महंगे लोकोमोटिव बनाने का काम सौंपा गया। उन्होंने कहा कि सरकार ट्रेड यूनियन मूवमेंट को कमजोर करने के लिए लेबर लॉ में सुधार कर रही है जो पूंजिपतियों व बिजनेसमैनों के लिए सुलभ बनाए गए हैं। वर्तमान में रेलवे में यूनियन और ऑल इंडिया रेलवेमेन्स फेडरेशन के विरोध के कारण सम्पूर्ण निजीकरण सरकार नहीं कर पाई है लेकिन सरकार निजीकरण के अन्य उपाय कर रही है। शर्मा ने कहा कि भरतीय रेल सभी विपरीत परिस्थितियों के बावजूद निरंतर देश के विकास व जनता की सेवा में भगीदारी निभा रही है और संघर्ष से रेलवे को सम्पूर्णतय निजीकरण से बचा रखा है।