अहमदाबाद

धनकुबेरों ने गुजरात पर खोला खजाना

पहले ही दिन चार लाख करोड़ के निवेश का वादा, वाइब्रेन्ट गुजरात ग्लोबल समिट

अहमदाबादJan 18, 2019 / 10:56 pm

Pushpendra Rajput

धनकुबेरों ने गुजरात पर खोला खजाना

गांधीनगर. गुजरात की राजधानी के महात्मा मंदिर में शुक्रवार से प्रारंभ हुए वाइब्रेन्ट गुजरात ग्लोबल समिट- २०१९ के पहले ही दिन धनकुबेरों ने करीब चार लाख करोड़ रुपए के निवेश की घोषणाएं की। रिलायंस समूह के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने अगले दस वर्षों में गुजरात में तीन लाख करोड़ रुपए निवेश करने की घोषणा की। वहीं अदाणी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी ने 55 हजार करोड़ के निवेश का वादा किया। आदित्य बिरला समूह के कुमारमंगलम बिरला ने 15 हजार करोड़, टोरेन्ट पावर ने 10 हजार करोड़ किए। वहीं, धोलेरा सर के लिए तीन बिलियन डॉलर के लिए प्रस्ताव आए। मारुति सुजुकी, नायरा एनर्जी, ने भी प्रस्ताव किए। गैस, ऑयल, कैमिकल, ऑटोमोबाइल एवं रक्षा क्षेत्र में भी निवेश करने के वादे किया गए ।
वाइब्रेंट गुजरात का पहला दिन..
बिजनेस टू बिजनेस हुईं ९०० बैठकें
अहमदाबाद. गांधीनगर के महात्मा मंदिर में आयोजित वाइब्रेंट गुजरात ग्लोबल समिति के पहले दिन शुक्रवार को ही बिजनेस टू बिजनेस (बीटूबी) के लिए नौ सौ बैठकें हो गईं। इनमें देश विदेश के उद्योगपति, डेलिगेट व प्रतिनिधि मौजूद रहे। बीटूबी की बैठकों में अलग-अलग ५३ कंपनियों के डेलिगेट और व्यक्तिगत बैठकें हुईं। इनमें ंआस्ट्रेलिया, बेहरिन, बेल्जियम, बंग्लादेश जैसे देशों के उद्योगपति भी मौजूद रहे। समिट में ६०० बीटूबी मीटिंग उद्योग क्षेत्र के प्रतिनिधियों के साथ तीन दिनों में होंगी। इनमें से ४२४ में उद्योगपति राज्य सरकार के अलग-अलग विभागों के साथ बैठक करेंगे। जबकि ९२ बैठकों में आस्ट्रोलिया, बेलिजयम चीन, फ्रांस, जर्मनी,, नीदरलेंड, पोलेंड, रूस फेडरेशन, सिंगापुर, स्विटजरलेंड, स्पेन,समेत १९ देशों के प्रतिनिधि बैठकें करेंगे।
‘पीपुल टू पीपुलÓ जोडऩे का मंच बना समिट
वाइब्रेन्ट गुजरात ग्लोबल समिट में स्वागत भाषण करते हुए मुख्यमंत्री विजय रुपाणी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्ष 2003 में जिस वाइब्रेन्ट श्रृंखला का प्रारंभ किया था उसका यह नौवां चरण हैं। यह न सिर्फ व्यापार -उद्योग बल्कि सोशल सेक्टर, कल्चरल एक्सचेंज एवं लोगों से लोगों को जोडऩे का वैश्विक मंच बन गया है। उन्होंने इस समिट को फ्युजन ऑफ बिजनेस विथ कल्चर करार देते कहा कि ‘गुजरात इज नोट ए गवर्नमेन्ट, बट वी आर केटलिस्ट फोर सक्सेसÓ (गुजरात सिर्फ एक सरकार ही नहीं बल्कि सफलता का उत्प्रेरक है)। यह समिट प्रतिभागी देशों और राज्यों के लिए अवसर तलाशने के लिए गुजरात सक्षम माध्यम बनकर उभर रहा है।

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