पुलिस अधीक्षक विकास शर्मा ने बताया कि शेयर बाजार में निवेश की राशि वापस प्राप्त करने व लाखों की धोखाधड़ी के मामले में एएसपी आईपीएस विकास सागवान व वृताधिकारी दरगाह के सुपरविजन में थानाप्रभारी धर्मवीरसिंह के नेतृत्व में टीम ने आरोपी मध्यप्रदेश भोपाल गोविन्दपुरा हाल इन्दौर के मिनलश्री अपार्टमेंट निवासी लालाराम विश्वकर्मा उर्फ लककी (32) को बुधवार को गिरफ्तार किया।
मोबाइल-लेपटॉप किया बरामद थानाप्रभारी धर्मवीरसिंह ने बताया पुलिस टीम ने थाने में दर्ज प्रकरण में इस्तेमाल किए गए मोबाइल नम्बर और खाता संख्या का तविश्लेषण करते हुए हैडकांस्टेबल मोतीराम व सिपाही सुभाष को एमपी इन्दौर रवाना की। पुलिस टीम ने सूझबूझ से काम करते हुए आरोपियों के फर्जी मोबाइल नम्बर, खातों का इस्तेमाल कर आरोपी लालाराम उर्फ लककी को दस्तयाब कर पूछताछ की। उससे वारदात में इस्तेमाल मोबाइल फोन, लेपटॉप जब्त किए। पुलिस गिरोह में शामिल साथी व मोबाइल में लगी फर्जी सिमकार्ड के संबंध में पड़ताल में जुटी है।
कम्पनी, नाम, मोबाइल नम्बर सब फर्जी पुलिस पड़ताल में गिरोह शेयर बाजार में हाई नेटवर्थ सर्विस, रुद्र इन्वेस्टमेंट व मनी मार्केट मंथन कम्पनी के अलावा गुडविल, चॉइस और ब्लू ब्लीव नाम से कम्पनी बनाकर ग्राहकों को फांसते थे। आरोपी लालाराम ने परिवादी जयसिंह को भी अपना नाम पुनित बताया था। उसने उससे फर्जी मोबाइल नम्बर से बात की। कार्रवाई में सहायक उप निरीक्षक बलदेवराम, हैडकांस्टेबल मोतीराम, सिपाही सुभाष (विशेष योगदान), सिपाही नन्द किशोर शामिल थे।
यूं बनाते थे शिकार पहला चरण ठग गिरोह में अलग-अलग प्लेटफार्म से ग्राहकों का डाटा, मोबाइल नम्बरों की जानकारी हासिल कर फर्जी नाम से ली गई सिमकार्ड और फेंक नाम से कॉल कर ट्रेडिंग के लिए मार्गदर्शन व डीमेट अकाउंट के लिए कम्पनियों के प्लेटफार्म उपलब्ध करवाते है। फिर उसी अकाउंट से ऑनलाइन कम्पनी में ट्रेड करवाते थे। फर्जी डी-मेट अकाउंट खोलने के नाम पर ग्राहकों से लाखों वसूले थे। फिर फर्जी क्लोन की हुई सोशल साइट पर बनी शेयर बाजार की विभिन्न कंपनियों में निवेश करवाते है। इनमें निवेश करने वाले ग्राहकों को पहले रकम दो गुना व 4 गुना करके ऑनलाइन दिखाते हैं। फिर अचानक रकम की निकासी रोक दी जाती है और फोन उठाना बंद कर देते हैं।
दूसरा चरण फिर शुरू होता है ठगने का दूसरा प्लेटफार्म। यहां ग्राहको के डेटा को सोशल साइट से लेकर परिवादी के अटके हुए रूपए वापस दिलवाने के नाम पर लाखों रुपए अपने फर्जी खाते में रकम ट्रांसफर करवाते हैं। ग्राहक को अलग-अलग नाम व नम्बर से फोन करवाए जाते है और रकम ट्रांसफर करवाई जाती है। ठगी के लिए आरोपी अपना फेंक नाम, फर्जी नाम से ली गई सिमकार्ड का इस्तेमाल करते हैं। बैंक खाते से भी फर्जी नम्बर से लिंक होते है। जिससे सारे लेनदेन ऑनलाइन किए जाते है। आरोपी अपना शेयर मार्केट का ऑफिस खोलकर ट्रेडिंग की आड़ में लोगों के साथ धोखाधडी करते हैं।
यह है मामला मामले में हाथीखेड़ा निवासी जयसिंह रावत ने गंज थाने में 6 मई को रिपोर्ट दी। उसने बताया कि शेयर बाजार में हाई नेटवर्थ सर्विस, रुद्र इन्वेस्टमेंट व मनी मार्केट मंथन कम्पनी के जरिए 20 लाख रुपए निवेश किया। निवेश की गई रकम वापस प्राप्त करने के लिए उससे विभिन्न एजेन्ट ने खातों में 5 लाख 30 हजार रुपए जमा करवाते हुए उसके साथ धोखाधड़ी की। परिवादी की रिपोर्ट पर धोखाधड़ी का मुकदमा दर्जकर लिया।