scriptनकली चांदी बेचने डूंगरपुर से चूरू आए थे शातिर, सर्राफा की सजगता से नहीं हुए कामयाब,आरोपी पुलिस के हवाले | Churu came from Dungarpur to sell fake silver. | Patrika News

नकली चांदी बेचने डूंगरपुर से चूरू आए थे शातिर, सर्राफा की सजगता से नहीं हुए कामयाब,आरोपी पुलिस के हवाले

locationअजमेरPublished: Dec 04, 2020 01:54:48 am

Submitted by:

suresh bharti

नकली चांदी बेचने वाले सिर्फ नौकर बताए,असली ठग कोई दूसरा है,एक नहीं चार-पांच सर्राफा को नकली चांदी बेचने की कोशिश की गई,लेकिन आखिर पुलिस के हत्थे चढ़ गए

नकली चांदी बेचने डूंगरपुर से चूरू आए थे शातिर, सर्राफा की सजगता से नहीं हुए कामयाब,आरोपी पुलिस के हवाले

नकली चांदी बेचने डूंगरपुर से चूरू आए थे शातिर, सर्राफा की सजगता से नहीं हुए कामयाब,आरोपी पुलिस के हवाले

अजमेर/चूरू. कोई जेवरात चमकाने के नाम गहने ले उड़ता है तो कोई सोने की ईंट बेचने के नाम ठगी कर रहा है। कोई लालच में फंस गया तो वह लुट बैठता है। इस तरह की ठगी करने वाला गिरोह है जो खुद सामने नहीं आकर दूसरों को भेज रहा है। गुरुवार को चूरू में कुछ ऐसे ही शातिर पुलिस के हत्थे चढ़ गए।
डूंगरगढ़ से नकली चांदी बेचने चूरू आए दो ठग दुकानदार की सतर्कता से पकड़े गए। सूचना पर पहुंची कोतवाली पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया। गढ़ के पास ज्वैलरी दुकान संचालक ने बताया कि दो लोग उसकी दुकान पर पहुंचे,जिन्होंने स्वयं को मजबूर बताते हुए चांदी के बदले में दूसरे सामान देने की बात कही। शेष बचे रुपए भी देने के लिए कहा गया। दोनों ने चांदी दिखाई तो दुकानदार को शक हो गया।
जांच करने पर नकली मिली

दुकानदार ने चांदी की जांच की तो वह नकली निकली। इस पर उसने खरीदने से इंकार कर दिया। इससे पहले दोनों ठग घंटाघर के पास एक व्यक्ति के पास भी पहुंचे थे, लेकिन नकली चांदी दिखने पर खरीदने से मना कर दिया। इसके बाद दोनों ठग अन्य ज्वैलरी की दुकान पर पहुंचे। चांदी के बदले में दूसरा प्याला मांगा गया। सोने-चांदी का पारखी होने पर सौदे से इंकार कर दिया। सभी जगह से निराश होने पर दोनों ठग सफेद घंटाघर पहुंचे, जहां एक दुकानदार उनकी बातों में आ गया। उसने नकली चांदी खरीद ली। इस दौरान पहले मिले एक दुकानदार ने उन्हें पहचान लिया व सच्चाई बताई।
ठगों ने कबूली

पुलिस गिरफ्त में आने पर ठगों ने कबूला की चांदी नकली है। एक व्यक्ति की ओर से उन्हें चांदी बेचने के लिए दी जाती है। इसके बदले में मजदूरी के तौर पर उन्हें रुपए मिलते हैं। सूचना पर दुकानदारों ने आरोपियों को पकडक़र कोतवाली पुलिस के सुपुर्द कर दिया।
पहले आ चुके हैं कई मामले

उल्लेखनीय है कि प्रदेश में पहले नकली सोने की ईंट को असली बताकर ठगी करने के कई मामले सामने आ चुके हैं। लोग लालच के चक्कर में पहले इन्हें खरीद लेते थे। बाद में जांच में नकली होने की बात सामने आती थी। ठग इतने शातिर थे कि नकली ईंट का कुछ हिस्सा सोने का रखते थे। ऐसे में जांच के बावजूद भी उन्हें पकड़ पाना मुश्किल होता था। पहचान नहीं होने के कारण पुलिस के लिए गिरफ्तार करना मुसीबत का कारण बनता था
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