धौलपुर जिले के अधिकांश सड़क मार्ग क्षतिग्रस्त होने के कारण रोज बसों में टूट-फूट होती है। वहीं हर बस को डिपो में ट्रिप पूरी होने के बाद जांचा जाता है। ऐसे में मिस्त्रियों का टोटा झेल रहे डिपों में कई दिन तक बसें मरम्मत के लिए खड़ी रहती है। एक मिस्त्री पर छह बसों का भार वर्कशॉप में क्षतिग्रस्त व खटारा बसों के मरम्मत का कार्य किया जाता है। फेरा पूरा करने के बाद प्रत्येक बस की जांच करनी होती है लेकिन मिस्त्रियों के अभाव में एक मिस्त्री पर औसतन छह बसों का भार रहता है। इससे समय पर कार्य पूरा नहीं हो पाता है।
बसों के समय पर सही नहीं होने के कारण कई बार बसों के शिड्यूल निरस्त करने पड़ते हंै। जिससे डिपो को राजस्व का नुकसान होता है। वहीं चालक व परिचालक भी डिपो में बिना कार्य बैठे रहते हैं। दूसरी ओर यात्रियों को भी समय पर पर्याप्त बसें नहीं मिल पाती है और उन्हें बसों में अधिक भीड़ में धक्के खाते हुए यात्रा करनी पड़ती है।
धौलपुर डिपो की सफाई व सुरक्षा की व्यवस्था रामभरासे ही संचालित है। डिपो पर सफाई व्यवस्था के लिए दो पद स्वीकृत है, ये दोनों की पद वर्षो से रिक्त है, ऐसे में सफाई व्यवस्था रामभरोसे ही संचालित है। इसी क्रम में डिपो पर सुरक्षा के लिए पांच सुरक्षाकर्मियों के पद स्वीकृत किए गए है, ये सभी भी रिक्त है।
वित्त शाखा ०६ ०१ ओएस ०१ ००
यूडीसी ०६ ०४ एलडीसी १७ ०६
चतुर्थ श्रेणी ०७ ०५ स्वीपर ०२ ००
यातायात शाखा ०८ ०१ जेईएन ०५ ०१
मेकेनिक(प्रथम) १५ ००
मेकेनिक(तृतीय) ३० १० स्टोर इंस्पेक्टर ०४ ०२
बुकिंग कलर्क १४ ०० सुरक्षाकर्मी ०५ ००