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ये है पीएम मोदी के डिजिटल इंडिया का हाल, बाबूगिरी से कैसे निबटेगी सरकार

locationअजमेरPublished: Sep 26, 2018 04:55:02 am

Submitted by:

raktim tiwari

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digital india problem

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पुष्कर.

तहसील व उपखंड कार्यालय में मंत्रालयिक कर्मचारियों की लापरवाही के कारण ई-मित्र से भेजे जा रहे जाति प्रमाण-पत्र दो माह तक स्वीकृत नहीं होने से कई आवेदक को नौकरी के लिए भर्ती फार्म भरने से वंचित हो रहे हैं। काफी चक्कर लगाने के बाद भी आवेदकों को टका सा जबाव मिलता है।
सरकार ने कामकाज में पारदर्शिता रखने के लिए भले ही ई-मित्र कियोस्क पर सभी प्रकार की सुविधाएं ऑन लाइन कर दी, लेकिन सरकारी महकमे के लिपिकीय कर्मचारियों की मनमानी सरकार के डिजिटल इंडिया के सपने पर भारी पड़ रही है।
पुष्कर तहसील व उपखंड कार्यालय में पिछले तीन चार माह से बेरोजगार जाति प्रमाण-पत्र लेने के लिए चक्कर लगा रहे हैं। तहसीलदार व उपखंड अधिकारी को इस संबंध में शिकायत करने के बावजूद बाबुओं की मनमानी के आगे अधिकारी भी मौन हैं।

ऐसे करते हैं परेशान
आवेदक द्वारा ई-मित्र से भेजे जाने वाले आवेदन में दस्तावेज की कमी होने पर कर्मचारी कई बार आवेदन पत्र लौटा देते हैं जबकि एक बार में ही दस्तावेज पूर्ति करने के बारे में बता देना चाहिए। लेकिन एक आवेदन को कमियांं पूर्ति करने के लिए कई बार लौटाते हैं। इससे आवेदक परेशान होने के साथ ही भर्ती के लिए आवेदन का तय समय तक निकल जाता है।
दो माह से भटक रही है बेरोजगार बालिका

आवेदक रितु टेलर ने ई मित्र के माध्यम से गत 25 जुलाई को जाति प्रमाण-पत्र के लिए आवेदन किया था। सात अगस्त को तहसील के लिपिक ने इस पर दस्तावेज पूर्ति करने का नोट लगाकर लौटा दिया। आवेदक ने 14 अगस्त को बताई गई कमी को पूरा कर ई-मित्र से वापस आवेदन भेजा। इसके बाद आवेदन 10 सितम्बर तक तहसील कार्यालय में ही ऑन लाइन रहा।
संबधित बाबू ने आवेदन को देखा तक नहीं और न ही आवेदक को कोई जानकारी दी। दस सितम्बर की शाम तीन बजे यह आवेदन तहसील स्तर पर स्वीकृत कर उपखंड अधिकारी को प्रेषित किया गया। उपखंड अधिकारी कार्यालय में यह आवेदन 10 सितम्बर से अब तक लम्बित पड़ा है। बालिका जाति प्रमाणपत्र के लिए पिछले दो माह से कार्यालयों के चक्कर काट रही है।
इस बारे में तहसीलदार व उपखंड अधिकारी हरिसिंह लम्बोरा को कई बार अवगत कराने के बावजूद बाबुओं की मनमानी के आगे मौन है।

रात आठ बजे बना प्रमाण पत्र

कलक्टर आरती डोगरा के निर्देश के बाद मंगलवार की रात करीब आठ बजे उपखंड अधिकारी हरि सिंह लाम्बा ने कार्यालय में बाबुओं को बुलवाकर रितु टेलर का पिछले दो माह से अटका पड़ा जाति प्रमाण-पत्र बनवाया। लाम्बा ने भविष्य में किसी प्रकार की कोताही नहीं बरतने के लिए लिखित मेें दिशा निर्देश भी जारी किए।दलालों के अडï्डे बने कार्यालय!
पुष्कर तहसील एवं उपखंड कार्यालय पिछले कई दिनों से दलालों का अडï्डा बनता जा रहा है। यहां पर पूरे दिन जमीनों के नामान्तरण कराने, दस्तावेजों के पंजीयन कराने के लिए दलालों का सीधा सम्पर्क होने की चर्चा रहती है। ई-मित्र के काम करवाने के लिए भी दलाली ली जाने की बातें सामने आई हैं।
मैं इस मामले को टेकअप करके कार्रवाई करती हूं

-आरती डोगरा, जिला कलक्टर अजमेर

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