बैचलर ऑफ फाइन आट्र्स के तहत टेक्सटाइल डिजाइनिंग, मूर्तिकला, व्यावसायिक कला, ड्राइंग एन्ड पेंटिंग, फोटोग्राफी, मास्टर ऑफ फाइन आट्र्स में ड्राइंग एन्ड पेंटिंग और म्यजिक विषय शुरू किए गए हैं। पत्रकारिता विभाग में भी शीघ्र सांध्यकालीन एक्जीक्यूटिव पाठ्यक्रम चलाया जाएगा। विभाग का ऑडियो-विज्युएल स्टूडियो जल्द तैयार होगा। सभी पुराने और नए पाठ्यक्रमों में यूजीसी के निर्देशानुसार च्वॉइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू किया गया है। विद्यार्थी विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर ऑनलाइन फॉर्म भर सकते हैं।
कुलपति ने बताया कि सरकार के आदेशानुसार राज्य के प्रत्येक जिले की पर्यावरण योजना बनाई जाएगी। पर्यावरण एवं वन मंत्रालय ने विश्वविद्यालय को अजमेर संभाग की जिम्मेदारी सौंपी है। नोडल अधिकारी पर्यावरण विभागाध्यक्ष प्रो. प्रवीण माथुर होंगे। इसमें जल, थल और वायु प्रदूषण, पौधरोपण, वानिकी, जैव विविधता जैसे बिंदु शामिल होंगे।
पुराने और नए विषयों के पाठ्यक्रम विवि तैयार कर चुका है। यूजीसी को फाइन आट्र्स संकाय के लिए भवन, शिक्षकों और सहायकों की नियुक्ति के प्रस्ताव भेजे जाएंगे। अन्य विषयों के शिक्षकों की नियुक्ति भी जल्द की जाएगी।