script727 में से सिर्फ 194 बांध ही भरे, 70 प्रतिशत या तो रिक्त या आंशिक भरे | Only 194 dams out of 727 were filled, 70 percent either empty or parti | Patrika News
अजमेर

727 में से सिर्फ 194 बांध ही भरे, 70 प्रतिशत या तो रिक्त या आंशिक भरे

इस बार मानसून में सामान्य जल आवक : जोधपुर संभाग के बांधों का हाल रहा सबसे बेहाल

अजमेरOct 09, 2021 / 01:27 am

Narendra

bisalpur dam

water in bisalpur dam

प्रदेश में इस बार मानसून उम्मीद के मुताबिक तो रहा लेकिन प्रदेश के बांध लबालब नहीं हो पाए और उनमें सामान्य जल आवक ही हुई। स्थिति ऐसी रही कि इस बार की मानसूनी बारिश प्रदेश के छोटे-बड़े 727 बांधों में से केवल 194 बांधों को ही भर पाई। प्रदेश के 70 प्रतिशत बांध या तो रिक्त रह गए या फिर आंशिक ही भर सके। बांधों में पानी की आवक के हिसाब से इस बार जोधपुर संभाग के बांधों का हाल बेहाल रहा। संभाग के 123 बांधों में महज 10 प्रतिशत ही जल आवक हुई। दूसरी ओर हमेशा की तरह जयपुर का रामगढ़ बांध भी इस बार सूखा रह गया। बांधों तक पानी नहीं आने का सबसे बड़ा कारण नदियों व बांधों के बहाव क्षेत्र में अतिक्रमण की दीवारें खड़ी होना पहला कारण रहा। अगर प्रदेश के 22 बड़े बांधों की बात करें तो केवल 4 बांधों में ही 99 प्रतिशत पानी है। वहीं 7 में से 3 बांध पूरी तरह सूखे हैं तो 4 में 15 प्रतिशत पानी ही उपलब्ध है।
संभागवार बांधों में पानी की आवक का हाल
संभाग कुल बांध जल आवक प्रतिशत

जयपुर 261 42
जोधपुर 123 10

कोटा 87 97
उदयपुर 256 76

बांधों की यह रही स्थिति

कुल बांध 727
बांधों की कुल भराव क्षमता 12626.36 मिलियन क्यूबिक मीटर
बांधों में पानी की आवक 9045.49 मिलियन क्यूबिक मीटर
71.64

पूर्ण भरे 194
आंशिक रूप से भरे 276

रिक्त 253


जयपुर संभाग के 50 प्रतिशत बांध नहीं भरे

जोधपुर संभाग में 123 बांध हैं, जिनकी कुल भराव क्षमता 976.90 मिलियन क्यूबिक मीटर है। लेकिन संभाग के बांधों में पूरे मानसून में 104.41 मिलियन क्यूबिक मीटर यानी 10 प्रतिशत पानी की ही आवक हुई। इसी तरह जयपुर संभाग के 261 बांधों का हाल भी यही रहा। बांधों की कुल भराव क्षमता 2671.12 मिलियन क्यूबिक मीटर क्षमता के 1142.81 मिलियन क्यूबिक मीटर पानी आया। यह कुल भराव क्षमता के 42 प्रतिशत ही रहा। इस स्थिति में जयपुर संभाग के 50 प्रतिशत बांध भी नहीं भर सके।
रामगढ़ हमेशा की तरह इस बार भी सूखा
जयपुर का रामगढ़ बांध भी हमेशा की तरह इस बार भी सूखा रहा। जयपुर जिले में बारिश तो ठीक हुर्ह लेकिन बांध में पानी आने के रास्ते में खड़ी हुई अतिक्रमणों की दीवारों ने पानी का रास्ता रोक दिया। जिला प्रशासन और जेडीए इस बार भी बांध तक पानी पहुंचाने के रास्ते में चिह्नित अतिक्रमणों को हटाने के मामले में चुप्पी साध कर बैठ गया।
22 में से 4 बड़े बांध ही 99 प्रतिशत तक भरे

प्रदेश के 22 बड़े बांधों की बात करें तो चित्तौडगढ़़ के राणा प्रतापसागर, कोटा के कोटा बैराज-जवाहर सागर और बांसवाड़ा के माही बजाज सागर बांध ही ऐसे हैं जो इस समय 99 प्रतिशत भरे हैं। क्योंकि इन बांधों में मध्यप्रदेश और गुजरात से पानी की आवक होती है। वहीं भरतपुर के सीकरी, जयपुर के रामगढ़ और कालख बांध में एक बूंद पानी की आवक नहीं हुई। वहीं पाली जिले के जवाई बांध में 16 प्रतिशत और सरदारसमंद में 3.26 प्रतिशत, भीलवाड़ा के मेजा बांध में 1.26 प्रतिशत और राजसमंद बांध में अब 12 प्रतिशत ही पानी है। इन जिलों में अब जल का संकट भी गहराने के आसार हैं।

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