आरपीएससी आरएएस, कॉलेज-स्कूल शिक्षा, कृषि, तकनीकी शिक्षा, पुलिस और अन्य महकमों की भर्तियां करता है। आवेदन से लेकर परीक्षा और परिणाम तक अभ्यर्थियों में कई भ्रांतियां/समस्याएं रहती हैं। इनमें री:शफल, पिकअप लिस्ट, उत्तरकुंजी, मेरिट लिस्ट, परिणाम में संशोधन और अन्य शामिल होती हैं। आयोग और सरकार के स्तर पर इनके समाधान के बावजूद अनावश्यक कोर्ट केस के चलते भर्तियों में देरी होती है।
खुद आयोग करेगा संवाद...
कार्यवाहक अध्यक्ष डॉ. शिवसिंह राठौड़ ने बताया कि आयोग ने इन भ्रांतियों-समस्याओं को दूर करने के लिए अभ्यर्थियों से खुद रूबरू होने का फैसला किया है। वर्चुअल माध्यम से वे अभ्यर्थियों से संवाद करेंगे। बतौर विशेषज्ञ पूर्व अध्यक्ष डॉ. एम.एल. कुमावत और डॉ. एल.के. पंवार शामिल होंगे। इस दौरान अभ्यर्थियों को सिर्फ समस्या/नवाचार के सुझाव देने का विकल्प मिलेगा। इनका समाधान ई-मेल, वॉट्सएप अथवा पत्र व्यवहार से दिया जाएगा।
ताकि पते चले कार्यप्रणाली डॉ. राठौड़ ने बताया कि कई बार अभ्यर्थी और युवा कतिपय कारणों से आयोग के प्रति धारणा बना लेते हैं। न्यायिक प्रक्रिया में उलझ जाते हैं। इससे भर्तियों में भी विलंब होता है। वर्चुअल संवाद का उ²ेश्य युवाओं-अभ्यर्थियों को आयोग की कार्यप्रणाली बताना है।