अजमेर

Shamefull: कभी लबालब भरा रहता था यह पवित्र सरोवर, कलियुग में हो गया ये हाल

उसे भी शीघ्र ठीक कर दिया जाएगा जबकि यज्ञ घाट पर पानी की सप्लाई जारी है ।

अजमेरApr 11, 2019 / 06:46 pm

raktim tiwari

pushkar lake

पुष्कर. पुष्कर सरोवर में जलस्तर की कमी को लेकर पुरोहितों की आंदोलन करने के बाद जलदाय विभाग ने जलस्तर बढ़ाने के लिए प्राथमिक प्रयास शुरू कर दिए हैं।
उपखंड अधिकारी देविका तोमर की ओर से दी गई जानकारी में बताया गया है कि जलदाय विभाग की ओर से दी रिपोर्ट में मनसा तलाई क्षेत्र में ट्यूबवैल चालू कर दिया गया है। इसके अलावा बद्री घाट, होली का चौक, मारवाड़ बस स्टैंड के ट्यूबवैल की पाइप लाइन के लीकेज ठीक कर दिए गए हैं इनसे पानी की आवक बढ़ी है ।
रिपोर्ट में बताया गया है कि वराह घाट के कुंड में लीलासेवड़ी एवं पारीक आश्रम के ट्यूबवैलों से पानी की आवक बहुत कम है। इसी प्रकार ब्रह्म घाट का ट्यूबवेल चालू हालत में है लेकिन नगरपालिका की ओर से काम कराए जाने के कारण बंद पड़ा है। उसे भी शीघ्र ठीक कर दिया जाएगा जबकि यज्ञ घाट पर पानी की सप्लाई जारी है ।
तकनीकी राय के बाद लगेंगे नए ट्यूबवेल

पुष्कर के पुरोहितों ने 5 अप्रेल को आंदोलन करके पुष्कर के घटते जल स्तर पर चिंता व्यक्त करते हुए जिला प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी वह आंदोलन किया था। पुष्कर बाजार बंद करने की घोषणा के बाद पुरोहितों के शिष्टमंडल की उपखंड अधिकारी कार्यालय में एक आवश्यक बैठक आयोजित की गई थी
बैठक में पुरोहितों ने पुष्कर सरोवर में हर हाल में जल स्तर बढ़ाने तथा 10 नए ट्यूबवैल लगाने की मांग की थी। उपखंड अधिकारी देविका तोमर ने बताया है कि इस मांग को लेकर जलदाय विभाग ने वैज्ञानिक की ओर से पानी की उपलब्धता की जानकारी लेने के बाद ही नए ट्यूबवैल लगाने की कार्रवाई करने की बात कही है।
अनुमति के बाद ही नए ट्यूबवैल

हालांकि बैठक में जिला कलक्टर के प्रतिनिधि के रूप में अतिरिक्त कलक्टर अरविंद सेंगवा ने नए ट्यूबवैल लगाने के लिए 50 लाख रुपए की स्वीकृति कलक्टर स्तर पर देने के संकेत दिए थे लेकिन वर्तमान में चुनाव की आचार संहिता लगने के कारण में चुनाव आयोग से अनुमति के बाद ही नए ट्यूबवैल लगाने का निर्णय हो सकेगा।
घटने लगा है जलस्तर
पुरोहितों के आंदोलन के बाद जिला प्रशासन की ओर से पुष्कर सरोवर में जल स्तर बढ़ाने की प्राथमिक उपाय करने की प्रयास जरूर कर दिए गए हो लेकिन यह प्रयास ऊंट के मुंह में जीरा ही कहा जा सकता है ।
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