scriptWarning: तुरन्त कर दें ये काम, वरना नहीं निकालने देंगे मुख्यमंत्री को गौरव यात्रा | Warning: students alert for govt, agitation against gaurav yatra | Patrika News

Warning: तुरन्त कर दें ये काम, वरना नहीं निकालने देंगे मुख्यमंत्री को गौरव यात्रा

locationअजमेरPublished: Sep 25, 2018 04:52:44 pm

Submitted by:

raktim tiwari

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law students warning

law students warning

अजमेर. लॉ कॉलेज में प्रथम वर्ष में प्रवेश, मान्यता और संसाधनों की कमी का मुद्दा तूल पकड़ गया है। छात्र-छात्राओं ने सरकार के खिलाफ कलक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया। विद्यार्थियों ने चेताया कि मान्यता और प्रवेश की अनुमति नहीं मिली तो अजमेर में मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की गौरव यात्रा का विरोध किया जाएगा।
प्रभु गुर्जर, राजीव भारद्वाज बगरू, पूजा असेरी, दीपक दायमा, कमलेश, सुशील चौधरी, महिपाल कस्वा, पप्पूराम, हिम्मत सिंह और अन्य ने कलक्ट्रेट के समक्ष नारेबाजी और प्रदर्शन किया। पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष मुरलीधर बेनीवाल ने बताया कि लॉ कॉलेज में ढाई महीने से प्रथम वर्ष के प्रवेश अटके हुए हैं।
पहले विश्वविद्यालय ने सम्बद्धता देने में देरी की। अब बार कौंसिल ऑफ इंडिया से मंजूरी नहीं मिल रही है। कायड़ रोड स्थित भवन की चारदीवारी नहीं बन पाई है। खेलमैदान, पर्याप्त शिक्षक, कैंटीन और अन्य सुविधाओं का अभाव है। विधायक और अन्य जन प्रतिनिधियों ने कोरे आश्वासन दिए हैं। कॉलेज की समस्या के प्रति सरकार गम्भीर नहीं है। इस दौरान मनीष, संजय ,संदीप, विनय, निर्मल, रामकिशोर और अन्य छात्र मौजूद थे।
वरना करेंगे गौरव यात्रा का विरोध
पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष राजीव भारद्वाज ने बताया कि प्रदेश के सभी लॉ कॉलेज में प्रथम वर्ष के दाखिलों पर तलवार लटकी हुई है। कॉलेज शिक्षा निदेशालय ने हमेशा की तरह बार कौंसिल ऑफ इंडिया की मंजूरी के बगैर दाखिले नहीं करने की शर्त लगाई है। प्रतिवर्ष यही स्थिति बनी रहती है। सरकार, बार कौंसिल और उच्च शिक्षा विभाग ने समय रहते फैसला नहीं किया तो अजमेर में गौरव यात्रा का विरोध किया जाएगा। प्रदेशव्यापी आंदोलन भी शुरू होगा।
इस स्पेशल लॉकर में होगी सबकी जन्मकुंडली..

विद्यार्थियों को कॉलेज और विश्वविद्यालयों में लाइनों में धक्के खाने, फीस जमा कराने जैसी मुसीबतों से जल्द छुटकारा मिलेा। सभी संस्थाओं को अंकतालिका,डिप्लोमा और डिग्री सहित परीक्षा फार्म, फीस, स्टाफ, कोर्स, रिसर्च और प्लेसमेंट का डिजिटल डाटा बैंक बनाना होगा। यूजीसी में संस्थाएं पंजीयन करा चुकी हैं। अब उन्हें शीघ्र कामकाज शुरू करना होगा।
केंद्र सरकार की ‘राष्ट्रीय अकादमिक संग्रहण केंद्र’ (नेशनल एकेडेमिक डिपॉजिटरी) योजना के तहत सभी उच्च, तकनीकी, प्रबंधन और अन्य संस्थानों को दस्जावेजों का डिजिटल डाटा बैंक तैयार करना है। यह बैंक में रुपए रखने जैसी प्रणाली पर कार्य करेगा। योजनान्तर्गत स्नातक/स्नातकोत्तर और अन्य पाठ्यक्रमों की डिग्री, डिप्लोमा, अंकतालिकाएं, प्रमाण पत्र और अन्य दस्तावेज डिजिटल प्रारूप में 24 घंटे ऑनलाइन उपलब्ध रहेंगे। विद्यार्थी फीस देकर वे ऑनलाइन प्रिंट ले सकेंगे।
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