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आयोजित कार्यक्रम के अतिथि सेना से रिटायर्ड महादेव पंत ने अपने अनुभवों को सभी के सामने सांझा किया। उन्होंने देश के लिए अपना योगदान दिया और गर्व जताते हुए कहा कि हर भारतीय नागरिक को देश की सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहना चाहिए। वहीं, विश्वविद्यालय के कुलसचिव एवं विभाग के डीन प्रो. शिवाजी सरकार ने अपने विचार रखते हुए कहा कि हर जगह की सेना उस देश की राजनीति से कहीं न कहीं ताल्लुक रखती है, लेकिन भारतीय सेना राजनीति से बिल्कुल अलग है। इसका पहला कर्तव्य अपने देश की सीमा की सुरक्षा करना है, इसमें जातिवाद या किसी भी तरह से कोई भेदभाव नहीं होता। सीएसी के डायरेक्टर प्रो. अली आर फ़तेहि ने कहा कि भारतीय सेना अपने कर्तव्य और दृढ़ निश्चय के लिए जानी जाती है। विभाग की अध्यक्ष मनीषा उपाध्याय ने कहा कि सरहदों पर सेना इसलिए जाती है, ताकि हम चैन से सो सकें। वहीं, डॉ. नीलम अग्रवाल ने कहा कि किसी भी दिवस को मनाना जितना जरूरी है, उतना ही जरूरी है उसके पीछे का इतिहास जानना, उसका महत्व जानना।
आयोजित कार्यक्रम के अतिथि सेना से रिटायर्ड महादेव पंत ने अपने अनुभवों को सभी के सामने सांझा किया। उन्होंने देश के लिए अपना योगदान दिया और गर्व जताते हुए कहा कि हर भारतीय नागरिक को देश की सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहना चाहिए। वहीं, विश्वविद्यालय के कुलसचिव एवं विभाग के डीन प्रो. शिवाजी सरकार ने अपने विचार रखते हुए कहा कि हर जगह की सेना उस देश की राजनीति से कहीं न कहीं ताल्लुक रखती है, लेकिन भारतीय सेना राजनीति से बिल्कुल अलग है। इसका पहला कर्तव्य अपने देश की सीमा की सुरक्षा करना है, इसमें जातिवाद या किसी भी तरह से कोई भेदभाव नहीं होता। सीएसी के डायरेक्टर प्रो. अली आर फ़तेहि ने कहा कि भारतीय सेना अपने कर्तव्य और दृढ़ निश्चय के लिए जानी जाती है। विभाग की अध्यक्ष मनीषा उपाध्याय ने कहा कि सरहदों पर सेना इसलिए जाती है, ताकि हम चैन से सो सकें। वहीं, डॉ. नीलम अग्रवाल ने कहा कि किसी भी दिवस को मनाना जितना जरूरी है, उतना ही जरूरी है उसके पीछे का इतिहास जानना, उसका महत्व जानना।
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छात्रा आयुषी ने सेना के शांति प्रिय पहलू पर प्रकाश डाला। छात्रा नेहा ने अपने आर्मी परिवार से जुड़े होने पर हर्ष जताया। छात्रा कृपा ने अपने विचारों मैं सेना दिवस के इतिहास को उजागर किया। छात्रा डोली ने कहा कि हमें देश के नागरिक होने के कारण सीमा के प्रति अपने कर्तव्य को निभाना चाहिए। वहीं, छात्र रोहित ने के एम करियप्पा के बारे में और देश में होने वाले कार्यक्रमों के बारे में बताया। कार्यक्रम का संचालन करते हुए छात्र मनजीत सिंह ने अटल बिहारी वाजपेई की कविता का जिक्र किया। कार्यक्रम संयोजक चंद्रिल कुलश्रेष्ठ ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस दौरान डॉ. स्वाति अग्रवाल, श्वेता भरद्वाज, वरुण पालीवाल, नियति शर्मा, मुकेश ठेनुआ आदि मौजूद थे।
छात्रा आयुषी ने सेना के शांति प्रिय पहलू पर प्रकाश डाला। छात्रा नेहा ने अपने आर्मी परिवार से जुड़े होने पर हर्ष जताया। छात्रा कृपा ने अपने विचारों मैं सेना दिवस के इतिहास को उजागर किया। छात्रा डोली ने कहा कि हमें देश के नागरिक होने के कारण सीमा के प्रति अपने कर्तव्य को निभाना चाहिए। वहीं, छात्र रोहित ने के एम करियप्पा के बारे में और देश में होने वाले कार्यक्रमों के बारे में बताया। कार्यक्रम का संचालन करते हुए छात्र मनजीत सिंह ने अटल बिहारी वाजपेई की कविता का जिक्र किया। कार्यक्रम संयोजक चंद्रिल कुलश्रेष्ठ ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस दौरान डॉ. स्वाति अग्रवाल, श्वेता भरद्वाज, वरुण पालीवाल, नियति शर्मा, मुकेश ठेनुआ आदि मौजूद थे।