आलीराजपुर. हिन्दू युवा जनजाति संगठन ने धूमधाम से बिरसा मुड़ा की जयंती मनाई। इसमें आलीराजपुर, सोरवा, बोरी, उदयगढ़, नानपुर, कट्ठीवाड़ा से आए युवाओं में बड़ा उत्साह देेखने को मिला। कार्यक्रम के प्रारंभ में निलेश सोलंकी व दिलीप चौहान ने दीप प्रज्ज्वलित किया। इसमें मुख्य अतिथि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् के प्रदेश मंत्री नीलेश सोलंकी रहे। हिन्दू युवा जनजाति संगठन आलीराजपुर के जिलाध्यक्ष दिलीप चौहान ने बिरसा मुंडा के बारे बताय, किस तरह से बिरसा मुंडा ने अदिवासियों के अधिकारों व इसाइयों से अपने जनजातीय समाज का धर्मांतरण रोकने के लिए लड़ाई लड़ी। बिरसा मुंडा का जन्म 15 नवम्बर 1875 को हुआ। जनजाति समाज के ऐसे ही एक वीर थे बिरसा मुंडा। बिरसा मुंडा ने मात्र 25 साल की उम्र में लोगों को एकत्रित कर एक आंदोलन का संचालन किया और देश की स्वतंत्रता में अहम योगदान दिया। जनजाति समाज में एकता लाकर उन्होंने देश में धर्मांतरण को रोकने के खिलाफ आवाज उठाई थी। जिला प्रवक्ता बीरबल डुडवे ने बताया कि बिरसा मुंडा ने जनजाति समाज को अपने अधिकार दिलाने के लिए अंग्रेजों व ईसाइयो से भी लड़ाई लड़ी थी। कार्यक्रम में जिलाध्यक्ष दिलीप चौहान, जिला उपाध्यक्ष प्रदीप तोमर, हरसिंग कलेश, मुकेश अजनार, जिला प्रवक्ता बीरबल डुडवे, जिला महासचिव प्रकाश जमरा, जिला महामंत्री हेमन्त तोमर, कालू रावत, जिला मंत्री सुरेश मण्डलोई, अनूप डावर, मुकेश चौहान, आलीराजपुर मंडल अध्यक्ष सुरेश सस्तिया, आलीराजपुर जिला मीडिया प्रभारी मगन चौगड, सचिन किराड़, निशांत तोमर, अंकित किराड़, कैलाश मौर्य, कदमसिंह मण्डलोई, मगन मुजल्दा, मुकाम मौर्य आदि कार्यकर्ता उपस्थिति रहे। कार्यक्रम का संचालन जिला उपाध्यक्ष प्रदीप तोमर ने किया। आभार संदीप ने माना। [typography_font:14pt;” >बिरसा मुंडा की जयंती पर अनेक कार्यक्रम हुएआलीराजपुर. वनवासी कल्याण परिषद मप्र द्वारा संचालित वल्लभ वनवासी कल्याण आश्रम व बालक आश्रम दशहरा मैदान में बिरसा मुण्डा की जयंती पर कई कार्यक्रम हुए। मुख्य अतिथि नगर संघ चालक जयेश भट्ट, विशेष अतिथि जिला प्रचारक दिनेश पारगी व सतीश भाटी थे। कार्यक्रम के प्रारंभ में क्रांतिकारी बिरसा मुण्डा के चित्र पर माल्यापर्ण कर भजनों की प्रस्तुति दी। तत्पश्चचात मुख्य वक्ता के रूप में सरस्वती शिशु मंदिर उ.मा.वि. के प्राचार्य बलीराम बिल्लोरे ने कहा कि बिरसा मुण्डा ने 9 वर्ष की आयु में ही क्रांति का बिगुल अंग्रेजों के विरुद्ध फंूका। आज झारखण्ड राज्य के रांची में विशाल समाधि स्थल बना हुआ है। बिरसा मुण्डा के कार्यों को सदैव याद किया जाएगा। संचालन आश्रम अधीक्षक शंकरसिंह निंगवाल ने किया। कार्यक्रम में लोकेश जैन, राजू शाह, सेवाभारती पूर्णकालिक अवधेश प्रतापसिंह व आश्रम के पूर्णकालिक भुकम चौहान तथा आश्रम में विद्यार्थियों के साथ बड़ी संख्या में अन्य युवा उपस्थित थे।