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रजिस्ट्रार जनरल के पत्र मे यह भी उल्लेख किया गया है कि वकील अथवा व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में अपने केस में बहस के लिए किसी वादकारी की अनुपस्थिति के चलते कोर्ट उस केस में कोई प्रतिकूल आदेश नहीं करेगी । मेडिएशन सेन्टर में मध्यस्थता के विवाद का निपटारा केवल अर्जेन्ट मामलों में ही होगा । हाथ मिलाकर आपस में एक दूसरे का अभिनन्दन करने पर कोर्ट परिसर में मना किया गया है तथा कहा गया है कि हाईकोर्ट की तरफ से जारी इस पत्र का कडाई से अनुपालन सुनिश्चित किया जाय । रजिस्ट्रार जनरल ने अपने पत्र में यह भी कहा है कि हाईकोर्ट के इस निर्देश का न केवल हाईकोर्ट में अपितु प्रदेश के सभी जिला अदालतों में भी कडाई से अनुपालन सुनिश्चित किया जाय ।
हाईकोर्ट होली की छुट्टियों के बाद सोमवार 16 मार्च से खुल रहा है इस नाते हाईकोर्ट ने इस पत्र को जारी कर कोर्ट से जुडे वादकारियो, कर्मचारियों, वकीलों, न्यायिक अधिकारियों क्लर्कों आदि की बड़ी संख्या में नियमित भीड़ को देखते हुए इस निर्देश का पालन करने को कहा है ।