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फर्जी बाबा की लिस्ट में आया नाम तो नरेन्द्र गिरी पर बरसे कुशमुनी, कहा दलाल, कोर्ट में घसीटने की दी धमकी

locationप्रयागराजPublished: Sep 11, 2017 12:27:38 am

फर्जी बाबा की लिस्ट नाम आने पर कुशमुनि का फूटा गुस्सा, नरेद्र गिरी को बताया मुलायम का दलाल, अखाड़ा के सदस्यों के ब्रह्मचर्य पर उठाए सवाल।

Kushmuni Attack on Narendra Giri

कुशमुनी ने नरेन्द्र गिरी पर लगाए आरोप

इलाहाबाद. अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद की ओर से जारी 14 फर्जी बाबाओं की लिस्ट में इलाहाबाद के कुशमुनि का नाम आते ही उनका गुस्सा फूट पड़ा। उन्होंने अखाडा परिषद अध्यक्ष नरेंद्र गिरी पर हमला बोलते हुए उन पर सपा सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव का दलाल होने व निरंजनी अखाड़े की जमीन बेचने का आरोप लगाया। साथ ही सभी अखाड़ों के मादक पदार्थों की सप्लाई में लिप्ट रहने के साथ ही कई अन्य आरोप लगाए। उन्होंने 13 अखाडों के महंतो को पौरूष शक्ति रखते हुए अपना ब्रम्हचर्य प्रमाणित करने की चुनौती तक दे डाली। साथ ही उन्होंने फर्जी बाबाओं की लिस्ट में खुद का नाम डाले जाने पर कोर्ट में जाने की बात भी कही।

रविवार को अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद की ओर से 13 अखाडों के पदाधिकारियों के बीच बैठक आयोजित की। बैठक में कुल 14 बाबाओं को फर्जी बाबा की लिस्ट में डाला गया। साथ ही ऐसे 14 बाबाओं की लिस्ट शासन को सौंपने और उन पर कार्रवाई करने की मांग की। लिस्ट में इलाहाबाद सिविल लाइंस में रहने वाले कुशमुनि का नाम भी आया। इस संबंध में जब पत्रिका संवाददाता ने कुशमुनि से सवाल किया तो अखाड़ा परिषद के खिलाफ उनका गुस्सा फूट पड़ा। उन्होंने कहा कि मैं अखाडा परिषद के दायरे में नहीं आता। 13 अखाड़ों में से किसी भी अखाड़े का मैं सदस्य नहीं। 2012 में उदासीन अखाडा का परित्याग किया।
 

इसकी मुख्य वहज अखाड़ों में व्याप्त भ्रष्टाचार, चरित्रहीनता थी। उन्होंने कहा कि वर्तमान में मैं अखिल भारतीय दंडी सन्यासी प्रबंधक समिति का राष्टीय प्रवक्ता हूं। मेरा गुरू स्थान मछलीमंदरमट Assi Ghat वाराणसी है। मैं सन्यासी भी नहीं हूं। मैंने महावाटि की दीक्षा ली है। ऐसे में अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद अध्यक्ष नरेंद्र गिरी मेरा नाम फर्जी संतो की लिस्ट में कैसे डाल सकते हैं। उन्होंने नरेंद्र गिरी पर हमला बोलते हुए कहा कि जिस पर खुद कई आरोप हों और जिसका इतिहास ही आपराधिक रहा हो। उसे ये अधिकार कौन देता है।

कुशमुनि ने नरेंद्र गिरी पर आरोप लगाते हुए कहा कि नरेंद्र गिरी ने हनुमान मंदिर के महंत के तौर पर कई अनैतिक कार्य किए हैं। मठ की सम्पत्ति की बेच डाली। उन्होंने निरंजनी अखाडे की भूमि सपा के एक नेता बेच दी थी। उस समय मैने सहायता की थी। ये सपा के मुलायम सिंह के परिवार के दलाल हैं। उन्होंने कहा कि मुझे बाद में पता चला कि काफी पैसा नरेंद्र गिरी ने Property Dealing में लगा रखा है।

उन्होंने नरेंद्र गिरी पर महामंडलेश्वर पद बेचने का भी आरोप लगाया। साथ ही 13 अखाडों को महंतो को चुनौती देते हुए कहा कि यदि ये लोग पौरूष शक्ति रखते हुए अपना ब्रम्हचर्य प्रमाणित रख दें तो मैं अपने आप को फर्जी मान जांऊ। दावा किया कि किसी भी अखाड़े में कोई भी महंत ब्रम्हचारी नहीं है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में जो अखाड़े चरस, गांजा, अफीम का समाज में प्रचार प्रसार कर रहे हैं। इनके द्वारा युवाओं को गलत मार्ग पर ले जाया जा रहा है। ये संत के नाम पर कलंक हैं। समाज को चाहिए कि ऐसी फर्जी बाबाओं का बहिष्कार करे तभी धर्म और समाज की रक्षा की जा सकेगी।
by ARUN RANJAN

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