जानकारी के मुताबिक़ मेजा तहसील के उरुवा गाँव के रहने वाले अधिवक्ता अनिल पाण्डेय की गाँव में एक जमीन है। जिस पर एस डी एम के आदेश पर जल निकासी की नाली खुदवा दी गई है। जिसकों हटवाने को लेकर अनिल पाण्डेय और उनके समर्थक करीब एक सप्ताह से हड़ताल पर थे। वह अपनी मांगों को लेकर कई दिनों से न्यायालय नहीं चलने दे रहे थे। चार दिन पहले अधिवक्ताओं का दूसरा पक्ष हड़ताल खत्म कराने और न्यायालय चलने देने की पैरवी में लगा हुआ था। सोमवार को भी अधिवक्ताओं के दोनों पक्षों में कहासुनी हुई बात इतनी बिगड़ गई की कोर्ट रूम में मारपीट हो गई।
मारपीट में ईंट.पत्थर के अलावा जमकर लाठी.डंडे भी चले। इसी दौरान एसडीएम न्यायालय का कक्ष खोलने के आरोप में पेशकार को भी पीट दिया गया। जिसके बाद तहसील परिसर में हंगामा मच गया। भगदड़ के दौरान तमाम लोगों ने एसडीएम कोर्ट में छिपकर जान बचाई। तहसील के बाहर दुकानें बंद कर दी गईं। पुलिस ने किसी तरह मौके पर पहुंच हालात को संभाला। एसपी क्राइम आशुतोष मिश्रा ने बताया की अधिवक्ताओं के दोनों गुटों से तहरीर लेकर रिपोर्ट लिखी ज़ा रही है। उन्होने बताया की पूरी घटना क़ा सीसीटीवी फुटेज भी आया है जिससे मारपीट और हंगामा करने वाले लोगों को चिन्हित कर कारवाई की जायेगी।