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Nagar Nikay Chunav 2017: यहां दांव पर लगी है सीएम, डिप्टी सीएम और तीन मंत्रियों की प्रतिष्ठा

locationप्रयागराजPublished: Nov 21, 2017 03:54:20 pm

Submitted by:

arun ranjan

बीजेपी से टूटा सितारा बना चुनौती, बीजेपी ने उतारी मंत्रियों की फौज

Nagar Nikay Chunav 2017

नगर निकाय चुनाव 2017

इलाहाबाद. डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या और तीन मंत्री देने वाले इलाहाबाद में बीजेपी के लिए मेयर की सीट प्रतिष्ठा का विषय बनी हुई है। बीजेपी के सामने उसी का टूटा सितारा कांग्रेस मेयर प्रत्याशी के रूप में ताल ठोक खड़ा है। कांग्रेस के इस कद्दावर नेता को हराने के लिए बीजेपी ने मंत्रियों की फौज चुनाव प्रचार में उतार दी है।

दरअसल बीजेपी ने जिस प्रत्याशी को मैदान मंे उतारा है वो निवर्तमान मेयर होने के साथ कैबिनेट मंत्री की पत्नी भी हैं। प्रतिष्ठा दांव में देख यहां सीएम योगी आदित्य नाथ के साथ डिप्टी सीएम सहित यहां के सभी मंत्री भी प्रचार मैदान में कूद पड़े हैं। बीजेपी ने इलाहाबाद में महापौर प्रत्याशी के रूप में अभिलाषा गुप्ता को मैदान में उतारा है। अभिलाषा गुप्ता कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी की पत्नी हैं। कैबिनेट मंत्री नंदी इलाहाबाद शहर दक्षिणी से विधायक हैं। साथ ही अभिलाषा नगर की निवर्तमान मेयर भी हैं।

इसके अलावा डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या के अलावा कैबिनेट मंत्री सिद्वार्थ नाथ, कैबिनेट मंत्री डाॅ0 रीता जोशी भी इलाहाबाद से हैं। हालांकि रीता जोशी लखनऊ से विधायक हैं। एक ही शहर के डिप्टी सीएम और तीन मंत्री के होने बीजेपी के लिए यह सीट प्रतिष्ठा का विषय बन चुकी है। यही कारण है कि कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी पिछले कई दिनों से इलाहाबाद में अपनी पत्नी के लिए जमकर चुनाव प्रचार कर रहे हैं।

 

इसके अलावा कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह, डाॅ0 रीता जोशी ने भी अभिलाषा गुप्ता के चुनाव प्रचार में पूरी ताकत झोंक दी है। अभिलाषा के चुनाव प्रचार में सीएम योगी आदित्य नाथ बुधवार को इलाहाबाद में विशाल जनसभा करने जा रहे हैं। मंच पर डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या सहित कई मंत्रियों और बीजेपी नेताआंें की फौज होगी।

ऐसे में इलाहाबाद सीट सीएम और डिप्टी सीएम के लिए भी प्रतिष्ठा का भी विषय बन जाती है। इतने मंत्रियों के प्रचार मैदान मंे उतरने के बावजूद बीजेपी की अगर हार होती है तो बीजेपी की यह बेहर ही शर्मनाक हार मानी जाएगी। मालूम हो कि अभिलाषा अगर ये चुनाव में जीत जाती हैं तो लगातार वोे लगातार दूसरी बार नगर की महापौर होंगी।

कांग्रेस को हराना आसान नहीं

कांग्रेस ने बीजेपी से टूट कर अलग हुए विजय मिश्र को ही अपना प्रत्याशी घोषित कर मैदान में उतार दिया है। विजय मिश्र को आरएसएस का चेहरा माना जाता रहा है। विजय मिश्र विधानसभा चुनाव मंे बीजेपी से टिकट नहीं मिलने से काफी नाराज थे। उन्होंने निकाय चुनाव के ठीक पहले बीजेपी छोड़ कांग्रेस का दामन थाम लिया। विजय मिश्र की ब्राह्मणों और व्यापारियों के बीच काफी अच्छी पैठ है।

कांग्रेस में आने से उन्हें ब्राह्मण के साथ व्यापारियों और कुछ मुस्लिम समुदाय का वोट भी मिलना तय माना जा रहा है। बीजेपी के काफी समर्थक अब भी दबी जुबान विजय मिश्र का समर्थन कर रहे हैं। इसके कारण बीजेपी को भीतरघात का खतरा है।

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