इलाहाबाद और दिल्ली में मुलाक़ात का जिक्र
छात्र नेता द्वारा वायरल किया गया ऑडियो जिसमें उस महिला से बात हो रही है । जिसके साथ कुलपति के चैट करने का दावा किया जा रहा है । उस ऑडियो में कुलपति सहित इलाहाबाद विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार का भी नाम लिया जा रहा है ।इलाहाबाद और दिल्ली में मुलाकातों की बातचीत उसमें हो रही है ।साथ ही इस बात का भी जिक्र है कि कुलपति को मिलने के लिए बुलाया जाए । इसके आलावा उस महिला के पारिवारिक संपत्ति से जुड़ी हुई चीजों का जिक्र उस ऑडियो में हुआ है।
पांच सितम्बर की रात हुआ था वायरल
दरअसल पांच सितंबर की रात अविनाश दुबे ने अपने फेसबुक अकाउंट पर एक चैट वायरल करते हुए दावा किया की यह नम्बर कुलपति रतनलाल हांगलू का है ।जिससे दिल्ली में रहने वाली एक महिला से चैट किया गया है। इस आरोप ने पुरे कैम्पस में हडकम्प मचा दिया । वही हर मुद्दे पर तत्काल एक्शन में आने वाले कुलपति और विवि प्रशासन की टीम 42 घंटे बाद थाने पंहुची और छात्र नेता के खिलाफ विश्वविद्यालय प्रशासन की तरफ से कर्नलगंज थाने में तहरीर दी गई जिसके बाद अविनाश दुबे पर आईटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
महिला पर बनाया जा रहा दबाव
वहीं दूसरी तरफ अविनाश दुबे ने भी अपनी जान को खतरा बताते हुए गुहार लगाई है । कि इस मामले की उच्च स्तरीय कमेटी से जांच कराई जाए । कुलपति के साथ उस महिला के नंबर की भी जांच हो । अविनाश दुबे का दावा है कि महिला ने अविनाश से खुद संपर्क किया और कुलपति के कारनामों का खुलासा किया है । हालाकि अविनाश ने पत्रिका को यह भी बताया कि फेसबुक पर चैट वायरल करने के बाद से वह महिला फोन पर बात नहीं कर रही है । जिससे उसे शक है कि महिला पर दबाव बनाया जा रहा है ।और मामले को दबाने की कोशिश की जा रही है।
हिंदी साहित्यकार की है विधवा
छात्र नेता का दावा है की जिस महिला का आडियो वायरल हुआ है । वह देश और दुनिया भर के जाने माने हिंदी के विख्यात साहित्यकार की विधवा है,जिनकी बीते साल मौत हो गई। बता दें की साहित्यकार से शादी के बाद यह महिला सुर्ख़ियों में रही जानकारों के अनुसार यह उनकी तीसरी पत्नी थी।जब इनकी शादी हुई तो दोनों की उम्र में बीस बरस से भी ज्यादा का फासला था।जिसको लेकर देश भर में यह शादी चर्चित हुई थी। आडियो में साहित्यकार के प्रकाशन का भी नाम सामने आया है।
दिल्ली तक पंहुचा चैट और आडियो
अविनाश ने बताया इस मामले की जानकारी साक्ष्य सहित प्रधानमंत्री कार्यालय, मानव संसाधन विकास मंत्रालय और राष्ट्रपति भवन को भेज दी गई है।साथ अन्य राजनितिक दलों के वरिष्ठ नेताओं को भी इसकी जानकारी भेज रहे है। अविनाश ने मांग की इस मामले में उच्च स्तरीय जांच कराई जाए। जिससे यह प्रकरण और इसकी सच्चाई सामने आ सके ।कहा की उच्च स्तरीय कमेटी गठित हो।और दोनों के नम्बरों की जाँच सार्वजनिक की जाए।