दिसम्बर माह के आगामी दिनों में शादियों के बड़े सावे हैं। पिछले दिनों देवउठनी पर हुए विवाह कार्यक्रमों में प्रशासन की सख्ती शहरी क्षेत्रों में संक्रमण को कुछ हद तक रोक पाने में सफल रही, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में यह सख्ती सीमित ही दिखाई पड़ सकी। शहरी क्षेत्रों में सख्ती का परिणाम यह हुआ कि शहरों में कोरोना पॉजिटिव की संख्या में कुछ कमी आई, लेकिन कोरोना पॉजिटिव के आंकड़ों में कमी को संक्रमण का स्थायी रूप से नियंत्रण नहीं माना जा सकता। आगामी दिनों में फिर कई बड़े सावे हैं और इन सावों पर जिले के ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में बड़ी संख्या में शादियां है। इन शादियों में अन्य शहरों से मेहमानों का पहुंचना शुरू भी हो गया है। ऐसे में जिले में फिर से कोरोना संक्रमण का खतरा मंडराने लगा है।
मेहमानों की 100 की संख्या की कर रहे अवहेलना राज्य सरकार व प्रशासन की ओर से शादी आयोजनों में अधिकतम 100 लोगों के शामिल होने की अनुमति दी गई है, लेकिन विवाह कार्यक्रमों के आयोजक प्रशासन की अधिकतम संख्या की अवहेलना कर पूर्व की तरह ही निमंत्रण पत्र का वितरण कर रहे हैं और मेहमानों को शादी में शामिल होने की मनुहार कर रहे हैं। इस कारण आगामी दिनों में होने वाले शादी कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में लोगों के शामिल होने की आशंका है। यदि शादी कार्यक्रमों में कोरोना गाइडलाइन व अनुमत संख्या की अवहेलना हुई तो कोरोना संक्रमण पर नियंत्रण प्रशासन के लिए बड़ी परेशानी खड़ी करेगा। इसी आशंका को देख जिला प्रशासन ने अधिकारियों को शादी कार्यक्रमों पर पैनी नजर रखने तथा कोरोना गाइडलाइन की पालना नहीं करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।
क्षेत्र के ग्राम विकास अधिकारी होंगे जिम्मेदार जिला कलक्टर ने सभी उपखंड अधिकारियों को विवाह समारोह में संख्या संबंधी सीमा का विशेष ध्यान रखते हुए औचक निरीक्षण कर अधिक संख्या में लोगों के पाए जाने पर सख्ती से कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही पटवारी, गिरदावर एवं एएनएम आदि के माध्यम से समारोह की विडियोग्राफ ी भी करवाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि बिना सूचना या निर्धारित संख्या से अधिक लोगों की समारोह में उपस्थिति पर क्षेत्र के ग्राम विकास अधिकारी के खिलाफ कडी कार्रवाई होगी।
अधिकारी वाहनों पर पब्लिक एड्रेस सिस्टम लगाएं जिला कलक्टर ने गांवों में कोरोना बीमारी के प्रति जागरुकता के लिए उपखंड अधिकारियों, तहसीलदार एवं विकास अधिकारियों को अपने वाहनों पर कोरोना जागरुकता संदेश देने के लिए पब्लिक ऐड्रेस सिस्टम लगाने के निर्देश दिए हैं।