अलवर. राखी व सट्टा कारोबारी घनश्याम सैनी हत्याकांड का पुलिस ने बुधवार को खुलासा कर दिया। बदमाशों ने रंजिश और रंगदारी के लिए इस वारदात को अंजाम दिया था। पुलिस ने इस हत्याकांड में शामिल तीन बदमाशों को को गिरफ्तार कर लिया है तथा शेष बदमाश अभी फरार हैं। जिनकी गहनता से तलाश की जा रही है। पुलिस ने बदमाशों के कब्जे से वारदात में इस्तेमाल स्कॉर्पियो गाड़ी, एक पिस्टल और दो कारतूस बरामद कर लिए हैं। हत्याकांड में सट्टा कारोबार से जुड़े कई लोगों के नाम भी सामने आ सकते हैं। जिला पुलिस अधीक्षक तेजस्वनी गौतम ने बताया कि राखी व्यवसायी घनश्याम सैनी (63) पुत्र मांगेलाल सैनी निवासी प्रतापबास बर्फखाना रोड सट्टे का कारोबार भी करता था। 29 जुलाई को सुबह 9.30 बजे घनश्याम सैनी घर से दुकान के लिए निकला। रास्ते में सैनी का अज्ञात बदमाश अपहरण कर ले गए। बदमाशों ने दुकान और घर नहीं पहुंचने पर पुत्र अनिल ने घनश्याम सैनी की गुमशुदगी रिपोर्ट दर्ज कराई। बदमाशों ने रंजिश और रंगदारी के चलते घनश्याम सैनी की पीट-पीटकर हत्या कर दी और शव को नौरंगाबाद के समीप पटककर फरार हो गए। पुलिस ने वारदात का खुलासा करते हुए वारदात को अंजाम देने वाले बदमाश बलजीत उर्फ बल्ली पुत्र वेदराम उर्फ वेदप्रकाश गुर्जर निवासी टिहली-तिजारा, अशोक उर्फ झुन्नू पुत्र गिरधारी मीणा निवासी मुण्डावर और विशाल सिंह पुत्र महेन्द्र सिंह राजपूत निवासी लादिया मोहल्ला अलवर को गिरफ्तार कर लिया है। जबकि उनके साथी राजा उर्फ शिब्बू उर्फ हब्बू उर्फ अप्पू पुत्र पूरण सिंह राजपूत निवासी लादिया मोहल्ला, अमित सोनी पुत्र रमेशचंद सोनी निवासी लादिया मोहल्ला और कमल उर्फ मोंटी सैनी निवासी हरसौली अभी फरार हैं। जिनकी सरगर्मी से तलाश जारी है।
खाकी वर्दी में आए बदमाश और अपहरण कर ले गए बदमाश राजा सोलंकी उर्फ अप्पू आपराधिक प्रवृत्ति का व्यक्ति है। उसने सट्टा कारोबारी घनश्याम सैनी को डरा-धमका बड़ी रकम वसूली की साजिश रची। इस वारदात को अंजाम देने के लिए राजा उर्फ अप्पू ने पपला गैंग के सदस्य बलजीत उर्फ बल्ली से सम्पर्क किया और उसे वारदात को अंजाम देने के लिए अलवर बुलाया। 29 जुलाई की सुबह बदमाश बलजीत उर्फ बल्ली और उसका अशोक उर्फ झुन्नू स्कॉर्पियो लेकर सुबह 7-8 बजे ही बर्फखाना रोड पर आ गए। इसके बाद उन्होंने राजा उर्फ अप्पू से सम्पर्क किया। इस पर राजा उर्फ अप्पू अपने साथी अमित सोनी और कमल उर्फ मोंटी सैनी के साथ बलजीत उर्फ बल्ली के पास पहुंच गया। इस दौरान मृृतक घनश्याम सैनी एक नाई की दुकान पर बैठा था। उस समय उन्होंने विशाल सिंह को भेजकर रैकी कराई थी। रैकी के बाद विशाल वहां से चला गया। घनश्याम जैसे ही वहां से निकलकर स्कूटी पर सवार होकर जाने लगा तो मोंटी सैनी खाकी वर्दी पहनकर आया और घनश्याम को रुकवाया और बोला कि गाड़ी में साहब बुला रहे हैं। घनश्याम सैनी पुलिसकर्मी समझकर स्कॉर्पियो के पास गया। बदमाशों ने उसे अपनी गाड़ी में बैठा लिया और अपहरण कर ले गए। मुल्जिम मोंटी सैनी मृतक घनश्याम सैनी की स्कूटी को चलाकर ले गया और अप्पू राजा एक बाइक पर सवार होकर रवाना हो गया। स्कूटी और बाइक को किसी स्थान पर खड़ा कर ये दोनों भी स्कॉर्पियो में सवार हो गए। उल्लेखनीय है कि अप्पू उर्फ राजा, उसके साथी मोंटी सैनी उर्फ कमल और विशाल सिंह ने घटना से एक दिन पहले भी घनश्याम सैनी के घर के आसपास रैकी की थी।